Delhi News: दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने प्रदूषण नियंत्रण उपायों पर एक आदेश जारी करने में दिल्ली सरकार की लेट-लतीफी रवैये अपनी नाखुशी जाहिर की है. उन्होंने अपने ताजा आदेश में विभागीय अधिकारियों से कहा है कि इसे मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को बताया जाए.


एलजी सूत्रों के मुताबिक शहर में वायु प्रदूषण को कम करने के लिए महत्वपूर्ण आदेश अक्टूबर में मुख्य सचिव द्वारा जारी किया जाना चाहिए था, लेकिन अभी तक जारी नहीं किया गया है. उनके मुताबिक उपराज्यपाल ने इसे घोर लापरवाही करार दिया है.


केजरीवाल का जवाब - 15 सूत्रीय कार्य योजना पर काम जारी 
एलजी के आदेश के जवाब में दिल्ली सरकार ने कहा कि वह वायु प्रदूषण से निपटने को लेकर गंभीर है और इस संबंध में सक्रिय रूप से काम कर रही है. आरोपों पर पलटवार करते हुए दिल्ली सरकार ने कहा कि मुख्यमंत्री केजरीवाल ने राजधानी में सर्दी के दौरान वायु प्रदूषण से निपटने के लिए 15 सूत्रीय कार्य योजना शुरू की है. केजरीवाल सरकार ने एक बयान जारी कर बताया है कि प्रदूषण नियंत्रण से जुड़ी सभी संबंधित एजेंसियों द्वारा योजना को “सफलतापूर्वक” लागू किया जा रहा है. यही वजह है कि पिछले कई वर्षों की तुलना में इस बार दिल्ली में वायु प्रदूषण नियंत्रण में है.


एक माह बाद पर्यावरण मंत्री ने फाइल पर किए हस्ताक्षर 
इससे पहले एक सूत्र ने दावा किया था कि दिल्ली सरकार की ओर से चूक इस वजह से हुई कि पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने करीब एक महीने तक इस तरह के आदेश जारी करने से जुड़ी फाइल पर हस्ताक्षर नहीं किए. मुख्य सचिव ने उच्चतम न्यायालय के नवंबर 2019 के आदेश और पांच अगस्त 2022 के वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) के एक आदेश के अनुपालन में 22 अक्टूबर को राय को मंजूरी के लिए फाइल भेजी थी.


ताजा अपडेट के मुताबिक 17 नवंबर को मंत्री की टिप्पणी के बिना फाइल मुख्य सचिव को वापस कर दी गई थी. बाद में मुख्य सचिव ने उपराज्यपाल को फाइल भेजी और इसे मंजूरी दे दी गई. सूत्रों ने बताया कि फाइल को मंजूरी देते हुए उपराज्यपाल ने इस मामले में दिल्ली सरकार की घोर लापरवाही पर निराशा जताते हुए कि इसे मुख्यमंत्री और पर्यावरण मंत्री तक पहुंचाया जाए. उन्होंने कहा कि काफी विलंब के बाद आदेश के अब जारी होने की उम्मीद है. मुख्य सचिव द्वारा जारी आदेश से विभागों के लिए यह अनिवार्य होगा कि वे निर्माण और विध्वंस के प्रबंधन, अपशिष्ट और धूल नियंत्रण, प्रदूषण हॉटस्पॉट पर पानी के छिड़काव, सड़कों की मरम्मत और उद्योगों को बंद करने समेत अन्य उपाय सुनिश्चित करने को लेकर संबंधित अधिकारियों की जिम्मेदारी तय करें. 


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