Delhi News: दिल्ली की एक अदालत ने कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार को विदेश यात्रा करने की अनुमति दे दी है. विशेष न्यायाधीश विकास ढुल के इस फैसले के बाद मनी लॉन्ड्रिंग मामले में आरोपी शिवकुमार 29 नवंबर से 3 दिसंबर तक दुबई में रह सकते हैं और वहां होने वाले शिखर सम्मेलन में भाग ले सकते हैं. दिल्ली की अदालत का यह फैसला शिवकुमार के आवेदन के जवाब में आया है. 


कर्नाटक के डिप्टी सीएम डी शिवकुमार ने अदालत के सामने याचिका दायर कर विदेश जाने की इजाजत मांगी थी. उन्होंने अपनी याचिका में कहा था कि डॉ. सुल्तान अहमद अल जाबेर और माइकल आर ब्लूमबर्ग की ओर से दुबई में सीओपी28 यानी जलवायु कार्रवाई शिखर सम्मेलन में भाग लेने का आमंत्रण मिला है. उसमे शामिल होने की इजाजत दी जाए. 


कोर्ट ने भारत से भागने की संभावना को किया खारिज


विशेष न्यायाधीश विकास ढुल ने संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत व्यक्तिगत स्वतंत्रता के अधिकार का हवाला देते हुए डी शिवकुमार को विदेश जाने की इजाजत दी है. कर्नाटक में आठ बार के विधायक और मौजूदा उपमुख्यमंत्री के रूप में शिवकुमार की व्यापक राजनीतिक पृष्ठभूमि को ध्यान में रखते हुए न्यायाधीश ने माना कि उनके भारत से भागने की संभावना नहीं है.


शिवकुमार पर लगाई ये शर्त


दिल्ली की अदालत ने शिवकुमार पर यात्रा से पहले 5 लाख रुपये की सावधि जमा रसीद (एफडीआर) जमा करने, संपर्क विवरण के साथ संपूर्ण यात्रा कार्यक्रम प्रदान करने और यात्रा के दौरान सह-अभियुक्तों से संपर्क करने या गवाहों को प्रभावित करने से परहेज करने सहित कई शर्तें लगाईं. आवेदन में कहा गया है कि आरोपी का बिना किसी उड़ान जोखिम के विदेश यात्रा का इतिहास रहा है और तर्क दिया गया कि जांच पूरी हो चुकी है, जिसमें शिवकुमार का कोई आपराधिक इतिहास नहीं है.


ED ने अदालत के रुख का किया विरोध


बता दें कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने उस आवेदन का विरोध किया, जिसमें आरोपी पर दूषित नकदी ले जाने से संबंधित आपराधिक साजिश में शामिल होने का आरोप लगाया गया था.


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