पटना: चर्चित आईपीएस विकास वैभव (IPS Vikas Vaibhav) ने बिहारी युवाओं में अलख जगाने की तैयारी कर ली है. लेट्स इंस्पायर बिहार (Lets Inspire Bihar) के तहत 10 दिसंबर को बेगूसराय से वो इसकी शुरुआत करेंगे. युवाओं को जातिवाद से ऊपर उठकर कुछ अलग करने की सीख देंगे. शुक्रवार (08 दिसंबर) को पटना के एक होटल में पीसी करते हुए उन्होंने अपना लक्ष्य बताया. राजनीति में एंट्री जैसे सवालों का भी उन्होंने जवाब दिया.


विकास वैभव ने कहा कि 2047 तक लक्ष्य है कि बिहार पूर्ण रूप से विकसित हो. बिहार में अभी 30 वर्ष के आसपास के लगभग 9 करोड़ युवा हैं. अगर सरकार नौकरी देती भी है तो सबको नहीं मिल सकेगी. मेरा उद्देश्य है कि सभी युवा कुछ ऐसा करें कि कोई बेरोजगार ना रहे. इसके लिए जाति से ऊपर उठना पड़ेगा. उन्होंने कहा कि जातियां पहले भी थीं, लेकिन जिस तरह का जातिवाद अभी है अगर पहले ऐसा होता तो नंद वंश का उदय नहीं होता. बिहार ऐसी धरती है जहां निम्न वर्ग से आने वाले शासक बने.


'4000 लोग अभी तक कार्यक्रम के तहत जुड़े'


आईपीएस विकास वैभव ने कहा कि हमने अपने कार्यक्रम के तहत 4000 से अधिक लोगों को जोड़ा है. 10 दिसंबर को बेगूसराय में जन संवाद कार्यक्रम होगा. इसके बाद 20 दिसंबर को आरा में कार्यक्रम होगा. पंचायत स्तर तक युवाओं को इसमें जोड़ने का काम करेंगे. क्या विकास वैभव का मकसद चुनाव लड़ना है? खंडन करते हुए इस पर उन्होंने कहा कि राजनीति में अच्छे लोगों को आना चाहिए. राजनीति  बहुत महत्वपूर्ण भूमिका है. इसमें ईमानदार व्यक्ति को आना चाहिए. निस्वार्थ भाव से काम करने वाले व्यक्ति को आना चाहिए तभी एक परिवर्तन होगा, लेकिन मैं उससे भी बड़े परिवर्तन की बात कर रहा हूं. यह सामाजिक परिवर्तन है.


विकास वैभव ने कहा कि किसी एक व्यक्ति के चुनाव लड़ने से बिहार को नहीं बदला जा सकता है, लेकिन हर व्यक्ति बिहार में जाग गया और सोचने लगा कि जाति-धर्म से उठकर हम कुछ बिहार के लिए करें तो निश्चित रूप से बिहार बदलेगा. यही बड़े उद्देश्य में मैं लगा हुआ हूं. मेरी सोच छोटी नहीं है. मैं हर बिहार वासियों को कहना चाहता हूं कि मेरे पूर्वजों की सोच बड़ी थी और इस बड़ी सोच के साथ में भेदभाव से ऊपर उठकर काम कर रहा हूं.


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