नई दिल्ली: लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) में जारी विवाद के बीच चिराग पासवान ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की है. इस दौरान उन्होंने पार्टी में चल रही गतिविधियों को लेकर अपना पक्ष रखा. चिराग ने बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) द्वारा हमारी पार्टी को तोड़ने का प्रयास निरंतर किया जा रहा था.


चिराग पासवान ने कहा कि ''बिहार चुनाव के दौरान, उससे पहले भी, उसके बाद भी कुछ लोगों द्वारा और खास तौर पर जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) द्वारा हमारी पार्टी को तोड़ने का प्रयास निरंतर किया जा रहा था. मेरी पार्टी के पूरे समर्थन के साथ मैने चुनाव लड़ा. कुछ लोग संघर्ष के रास्ते पर चलने के लिए तैयार नहीं थे. मेरे चाचा ने खुद चुनाव प्रचार में कोई भूमिका नहीं निभाई. मेरी पार्टी के कई और सांसद अपने व्यक्तिगत चुनाव में व्यस्त थे.''


यह सब तब हुआ जब मैं बीमार था- चिराग पासवान


एलजेपी नेता चिराग पासवान ने कहा कि ''यह सब तब हुआ जब मैं बीमार था. मैंने उस समय अपने चाचा से बात करने की भी कोशिश की लेकिन मैं असफल रहा.'' उन्होंने कहा कि ''सदन के नेता की नियुक्ति पार्लियामेंट्री बोर्ड का फैसला है, न कि मौजूदा सांसद. ऐसी खबरें आई हैं कि मुझे पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के पद से हटा दिया गया है. पार्टी के संविधान के अनुसार, राष्ट्रीय अध्यक्ष को केवल तभी हटाया जा सकता है जब उसकी मृत्यु हो जाती है या इस्तीफा देता है.''


चिराग पासवान ने कहा कि बिहार चुनाव में हमें 6 प्रतिशत मत मिला और 25 लाख वोट भी. मैं मानता हूं कि अगर हम बीजेपी और जेडीयू के साथ चुनाव लड़ते तो लोकसभा चुनाव जैसा ही परिणाम आता, लेकिन मुझे नीतीश कुमार के सामने नतमस्तक होना पड़ता. विधानसभा चुनाव के दौरान हमारी पार्टी के कुछ नेता, जिसमें मेरे चाचा भी शामिल थे, अपनी अपनी निजी लड़ाई लड़ रहे थे न कि पार्टी की. उन्होंने कहा कि दुख मुझे इस बात का हुआ कि जब मैं बीमार हुआ तो ऐसा हुआ. मैं अभी भी पूरी तरह ठीक नहीं हुआ हूं. मैंने अंत तक ये प्रयास किया कि परिवार नहीं टूटे.


चाचा बोलते तो संसदीय दल का नेता बना देता- चिराग


पासवान ने कहा कि अगर मेरे चाचा मुझे बोलते कि वो संसदीय दल के नेता बनना चाहते हैं तो मैं तैयार हो जाता. उन्होंने कहा कि हनुमान को अगर राम से मदद मांगनी पड़े तो फिर वह हनुमान काहे के और वह राम काहे के. मालूम हो कि बिहार विधानसभा चुनावों के दौरान चिराग पासवान ने खुद को हनुमान और प्रधानमंत्री मोदी को राम कहा था.