बिहार में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) सरकार प्रत्येक नागरिक तक बेहतर और सुलभ स्वास्थ्य सेवाएं पहुंचाने के लिए लगातार ठोस कदम उठा रही है. उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने यह बात एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहीं. उन्होंने कहा कि सरकार का लक्ष्य हर जिले में एक मेडिकल कॉलेज और अस्पताल स्थापित करना है. ताकि लोगों को इलाज के लिए बड़े शहरों या दूसरे राज्यों का रुख न करना पड़े.

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सम्राट चौधरी ने कहा कि इसी सोच के तहत गया में महाबोधि मेडिकल कॉलेज और अस्पताल का उद्घाटन किया गया है. यह संस्थान न केवल गया जिले बल्कि आसपास के जिलों के लाखों लोगों के लिए भी एक बड़ी राहत साबित होगा. उन्होंने कहा कि सीमित समय में इस अत्याधुनिक मेडिकल कॉलेज का निर्माण राज्य सरकार की प्रतिबद्धता और इच्छा शक्ति को दर्शाता है.

अब इलाज के लिए दूसरे राज्यों में नहीं पड़ेगा जाना- उपमुख्यमंत्री

उपमुख्यमंत्री ने अपने बयान में बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था के पुराने हालात का जिक्र करते हुए कहा कि वर्ष 1925 से 1989 के बीच राज्य में कई मेडिकल कॉलेजों की स्थापना हुई थी. 1989 से 2008 के लंबे दौर में एक भी नया मेडिकल कॉलेज नहीं खुल सका. उन्होंने कहा कि यही वह समय था, जब बिहार की स्वास्थ्य सेवाएं बदहाली का शिकार हो गई थीं और लोगों को बेहतर इलाज के लिए राज्य से बाहर जाना पड़ता था. अब ऐसा नहीं होगा बिहार के लोगों को इलाज के लिए दूसरे राज्यों में नहीं जाना पड़ेगा.

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एनडीए के राज में सुधरी स्वास्थ्य व्यवस्था- सम्राट चौधरी

सम्राट चौधरी ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में जब सुशासन की शुरुआत हुई, तब स्वास्थ्य व्यवस्था को सुधारने पर विशेष ध्यान दिया गया. उन्होंने बताया कि वर्तमान समय में सरकारी और निजी क्षेत्रों में मेडिकल कॉलेजों की स्थापना तेजी से हो रही है. उन्होंने ऐलान किया कि आने वाले तीन वर्षों में बिहार में आठ से अधिक नए मेडिकल कॉलेज खोले जाएंगे. जिससे राज्य की स्वास्थ्य सेवाएं और अधिक मजबूत होंगी.

उन्होंने बताया कि गया का महाबोधि मेडिकल कॉलेज और अस्पताल 650 बेड की क्षमता वाला अत्याधुनिक संस्थान है. यहां अनुभवी डॉक्टरों, नर्सों और पैरामेडिकल स्टाफ की तैनाती की गई है. ताकि मरीजों को चौबीसों घंटे गुणवत्तापूर्ण इलाज मिल सके.

मेडिकल कॉलेज को मिल चुकी है 100 MBBS सीटों की मान्यता

उपमुख्यमंत्री ने यह भी जानकारी दी कि इस मेडिकल कॉलेज को 100 एमबीबीएस सीटों की मान्यता मिल चुकी है और शैक्षणिक सत्र के लिए छात्रों का नामांकन पूरा कर लिया गया है. उन्होंने कहा कि इससे बिहार के युवाओं को मेडिकल की पढ़ाई के लिए दूसरे राज्यों में भटकना नहीं पड़ेगा.

सम्राट चौधरी ने विश्वास जताया कि महाबोधि मेडिकल कॉलेज और अस्पताल आने वाले समय में चिकित्सा शिक्षा, शोध और स्वास्थ्य सेवाओं के क्षेत्र में एक आदर्श संस्थान बनेगा और बिहार के स्वास्थ्य ढांचे को नई मजबूती प्रदान करेगा.

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