बिहार में चौथे चरण के तहत शिक्षकों की बहाली होनी है. इसको लेकर विभाग की ओर से साफ कर दिया गया है कि 26 हजार के आसपास पदों पर नियुक्तियां होंगी. दूसरी ओर शिक्षक अभ्यर्थियों की मांग है कि चौथे चरण के तहत एक लाख 20 हजार पदों पर बहाली हो. अपनी मांग को लेकर एक बार फिर शिक्षक अभ्यर्थी सड़कों पर उतरने के लिए तैयार हैं. 

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चार अक्टूबर को शिक्षक अभ्यर्थी पटना कॉलेज से मार्च निकालेंगे और सीएम आवास तक जाएंगे. बिहार स्टूडेंट यूनियन के अध्यक्ष दिलीप कुमार ने इसकी घोषणा की है. उनका कहना है कि सरकार ठगने का काम किया है. एक लाख 20 हजार पदों पर बहाली निकालने का वादा सरकार ने किया था, लेकिन 26 हजार पदों पर ही बहाली होगी. यह वादा खिलाफी है. 

दिलीप कुमार ने कहा कि पहले बाहर के युवाओं को नौकरी देने के लिए आंकड़े बढ़ाए जाते थे, लेकिन अब बिहार के युवाओं के साथ छल किया जा रहा है. डोमिसाइल लागू होने पर सीटों में कटौती की गई. 

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दिसंबर में परीक्षा होगी, जनवरी में नतीजे आएंगे

बता दें शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने ऐलान किया है कि 26 हजार पदों के लिए वैकेंसी आएगी. आगे फिर से टीआरई-5 में बहाली होगी. गौरतलब हो कि 16 से 19 दिसंबर के बीच टीआरई-4 की परीक्षा होगी. परिणाम 20 से 24 जनवरी (2026) तक जारी कर दिए जाएंगे.

बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) शिक्षक भर्ती की परीक्षा ले रहा है. तीन चरण में हुई भर्ती में लाखों युवाओं को नौकरी मिल चुकी है. अब जल्द ही बीपीएससी की ओर से चौथे चरण की भर्ती के लिए परीक्षा ली जाएगी. इस भर्ती के तहत प्राथमिक (कक्षा 1-5), मिडिल स्कूल (कक्षा 6-8), सेकेंडरी (कक्षा 9-10) और सीनियर सेकेंडरी (कक्षा 11-12) में शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी.

बता दें कि अभ्यर्थियों ने पहले भी आंदोलन किया था. हालांकि सरकार सुनने को तैयार नहीं है. चुनावी वर्ष में एक बार फिर सरकार पर दबाव बनाने की कोशिश शुरू कर दी गई है. सरकार दावा कर रही है कि लाखों युवाओं को रोजगार दिया गया, बहाली की गई, लेकिन इन्हीं मुद्दों पर सरकार की घेराबंदी भी हो रही है.

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