नई दिल्ली: श्रीलंका के खिलाफ तीन टेस्ट मैचों की सीरीज 1-0 से जीतने के बाद टीम इंडिया अब नए कप्तान के साथ वनडे सीरीज के लिए तैयार है. धर्मशाला से शुरू हो रहे वनडे सीरीज के पहले मुकाबले से ठीक पहले भारत को दो बड़े झटके लगे हैं. एक तरफ जहां सलामी बल्लेबाज शिखर धवन वायरल फीवर से पीड़ित हैं तो दूसरी तरफ स्पिन ऑलराउंडर केदार जाधव हैमस्ट्रिंग मांसपेशियों में खिंचाव के कारण सीरीज से बाहर हो गए हैं. धवन के खेलने पड़ अभी भी संशय के बादल हैं. अब देखना होगा कि सीरीज के कार्यवाहक कप्तान रोहित शर्मा इन दो बड़े झटकों से कैसे निपटते हैं.



दूसरी तरफ श्रीलंका एक बार फिर नए कप्तान के साथ मैदान पर उतरेगा. उपुल थंरगा के स्थान पर थिसारा परेरा टीम के नए कप्तान बनाए गए हैं. ऐसे में दोनों कप्तानों के कंधों पर टीम की जीत दिलाने की बड़ी जिम्मेदारी है.

रोहित पहली बार राष्ट्रीय टीम की कप्तानी करेंगे. नियमित कप्तान विराट कोहली के छुट्टी पर जाने के कारण उन्हें टीम की कमान सौंपी गई हैं. हालांकि रोहित इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में मुंबई इंडियंस के कप्तान हैं और उनके रहते टीम ने तीन बार आईपीएल का खिताब अपने नाम किया है.

कोहली के नेतृत्व में भारतीय टीम लगातार अच्छा प्रदर्शन कर रही है. उसने हाल ही में श्रीलंका को उसके घर में और फिर ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड को अपने घर में वनडे सीरीज में मात दी थी. रोहित के सामने उसी विजयी क्रम को जारी रखने की बड़ी चुनौती है.

श्रीलंका की टीम को देखते हुए उनके लिए यह आसान लगता है क्योंकि श्रीलंका टीम ने पिछली तीन सीरीज में हार झेली है. जिम्बाब्वे जैसी टीम ने उसे उसके घर में 3-2 से हराया था. फिर भारत से वह अपने घर में ही 0-5 से हारी थी. इसके बाद पाकिस्तान ने उसे अपने दूसरे घर संयुक्त अरब अमिरात में 5-0 से मात दी थी.

इस लिहाज से रोहित की कप्तान के तौर पर विजयी शुरुआत का रास्ता आसान लगता है, लेकिन क्रिकेट अनिश्चिताओं का खेल है. इस बात से सभी वाकिफ हैं. वहीं टेस्ट सीरीज में भी श्रीलंकाई खिलाड़ियों का प्रदर्शन में काफी सुधार देखने को मिला.

रोहित के सिर कप्तानी के साथ-साथ बल्ले से बेहतरीन प्रदर्शन करने का भी दबाव होगा. पिछली बार उन्होंने श्रीलंका के खिलाफ 264 रनों की विशाल पारी खेली थी. कोहली की गैरमौजूदगी में टीम की बल्लेबाजी कुछ हद तक तो कमजोर होगी. ऐसे में रोहित के अलावा  महेंद्र सिंह धोनी और अंजिक्य रहाणे पर टीम को संभालने की जिम्मेदारी होगी.

रहाणे टेस्ट में अच्छी फॉर्म में नहीं थे. उनके लिए और टीम के लिए यह जरूरी है कि रहाणे अपने बल्ले की जंग को दूर करें. कोहली की गैमोजूदगी मनीष पांडे और श्रेयस अय्यर के लिए बड़ा मौका साबित हो सकती है. वहीं रोहित मध्यक्रम को मजबूती देने के लिए अनुभवी बल्लेबाज दिनेश कार्तिक को भी मौका दे सकते हैं.

वहीं गेंदबाजी में जसप्रीत बुमराह, भुवनेश्वर कुमार पर टीम की कमान होगी. धर्मशाला की पिच तेज गेंदबाजों की मददगार साबित हो सकती है. इस विकेट पर भारत ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट मैच खेला था और तब इस विकेट के व्यवहार की सभी ने तारीफ की थी.

ऐसे में रोहित नए तेज गेंदबाज सिद्धार्थ कौल को टीम में मौका दे सकते हैं. हालांकि इसकी संभावना कम है क्योंकि उनके पास हार्दिक पांड्या के रूप में एक हरफनमौला खिलाड़ी पहले से ही मौजूद है. स्पिन विभाग का जिम्मा कुलदीप यादव और लेग स्पिनर युजवेंद्र चहल के जिम्मे होगा. कुलदीप ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट मैच में से इसी मैदान पर अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में डेब्यू किया था.

वहीं श्रीलंका की बात की जाए तो उसकी बल्लेबाजी थरंगा, पूर्व कप्तान एंजेलो मैथ्यूज, तीसरे टेस्ट में मैच बचाने वाली पारी खेलने वाले धनंजय डी सिल्वा और दिमुथ करुणारत्ने पर निर्भर करेगी.

गेंदबाजी में टेस्ट में सुरंगा लकमल ने काफी प्रभावित किया था. वह अगर अपने उसी फॉर्म को जारी रखते हैं तो भारत के लिए थोड़ी परेशानी हो सकती है. चाइनमैन लक्षण संदाकान और ऑफ स्पिनर दिलरुवान परेरा पर भी श्रीलंका काफी हद तक निर्भर करेगी.

टीमें :

भारत : रोहित शर्मा (कप्तान), शिखर धवन, अजिंक्य रहाणे, श्रेयस अय्यर, मनीष पांडे, दिनेश कार्तिक, महेंद्र सिंह धौनी, हार्दिक पांड्या, अक्षर पटेल, कुलदीप यादव, युजवेंद्र चहल, जसप्रीत बुमराह, भुवनेश्वर कुमार, सिद्धार्थ कौल, वाशिंगटन सुंदर.

श्रीलंका : थिसारा परेरा, उपुल थंरगा, दानुष्का गुणाथिलका, लाहिरू थिरिमाने, एंजेलो मैथ्यूज, असेला गुणारत्ने, निरोशन डिकवेला, चाटुरंगा डी सिल्वा, अकिला धनंजय, सुरंगा लकमल, नुवान प्रदीप, सादिरा समाराविक्रमा, धनंजय डी सिल्वा, दुशमंथा चामिरा, सचिथा पाथिराना, और कुशल परेरा.