बारिश के बाद और भी खूबसूरत हुआ जलमहल का नजारा, रात में लगती है पर्यटकों की भारी भीड़, देखें तस्वीरें
राजस्थान का मशहूर जलमहल इन दिनों बारिश के बाद बेहद खूबसूरत हो गया है. यहां पर बड़ी संख्या में पक्षी भी आने लगे हैं. यहां पर अब पर्यटक भी खूब आ रहे हैं.
इस बार जुलाई में हुई बारिश में जलमहल पानी से लबालब हो गया था. अब वहां पर ऊंट और घोड़े सज-धज कर खड़े होने लगे हैं.
सितम्बर का महीना आते ही यहां की रंगत बदल जाती है. जयपुर-आमेर मार्ग पर मानसागर झील के मध्य स्थित इस महल का निर्माण सवाई जय सिंह ने अश्वमेध यज्ञ के बाद अपनी रानियों और पंडित के साथ स्नान के लिए करवाया था.
इस महल के निर्माण से पहले मानसिंह ने जयपुर की जलापूर्ति हेतु गर्भावती नदी पर बांध बनवाकर मानसागर झील का निर्माण करवाया. इसका निर्माण 1699 में कराया गया था.
जानकार बताते हैं कि इसके निर्माण के लिए राजपूत शैली से तैयार की गई नौकाओं की मदद ली गई थी. राजा इस महल को अपनी रानी के साथ खास वक्त बिताने के लिए इस्तेमाल करते थे.
वो इसका प्रयोग राजसी उत्सवों पर भी करते थे. इस जलमहल की खूबसूरती निहारने के लिए लोग दूर दूर से आते हैं. यहां पर रात में खूब भीड़ हो जाती है.
यूपी, दिल्ली , हरियाणा, पंजाब और एमपी से बड़ी संख्या में लोग यहां आते हैं. बताया जाता है कि अरावली पहाड़ियों के गर्भ में स्थित यह महल झील के बीचों-बीच होने के कारण 'आई बॉल' भी कहा जाता है.
इसे 'रोमांटिक महल' के नाम से भी जाना जाता था. राजा सवाई जयसिंह द्वारा निर्मित यह महल मध्यकालीन महलों की तरह मेहराबों, बुर्जो, छतरियों और सीढीदार जीनों से युक्त दुमंजिला और वर्गाकार रूप में निर्मित भवन है.
इस महल की खूबसूरती ठंड के महीने में बढ़ जाती है. यहां पर रात में चांदनी की रोशनी में जलमहल की ख़ूबसूरती बदल जाती है.