Amarnath Cloudburst: मलबे में जिंदगी की तलाश में जुटे जवान! रेस्क्यू ऑपरेशन की ताजा तस्वीरें
अमरनाथ यात्रा के दौरान बादल फटने से कम से कम 16 लोगों की मौत हो गई जबकि 60 से अधिक लोग घायल हुए हैं. वहीं भारतीय सेना लोगों को बचाने के काम जुटी हुई है.
वहां के हालात अच्छे नहीं है. फिलहाल यात्रा को अस्थाई रूप से स्थगित कर दिया गया है. राहत और बचाव का काम चल रहा है.
पवित्र अमरनाथ गुफा के करीब जब बादल फटा तो वहां पहले से ही बारिश हो रही थी. जैसे ही ऊपर से तेज बहाव में पानी आने की खबर लगी, वहां सुरक्षा के लिए मौजूद आईटीबीपी के जवानों ने कैंप और टेंटों में मौजूद लोगों को सुरक्षित स्थान पर भेजना शुरु कर दिया.
बाजार से दुकानदारों को भी पहले ही सुरक्षित स्थान पर भेज दिया था. अगर ऐसा नहीं होता तो नुकसान बहुत ज्यादा होता.
शुक्रवार की शाम 5.30 बजे बादल फटने के बाद जैसे ही तेज बहाव रुका, आईटीबीपी के जवानों ने रेस्क्यू ऑपरेशन शुरु कर दिया.
शुक्रवार को 14 हजार से भी ज्यादा श्रद्धालुओं ने पवित्र गुफा और शिवलिंग के दर्शन किए थे. इसके अलावा बड़ी संख्या में लोग यात्रा के रुट पर मौजूद थे.
ऐसे में अगर समय से लोगों को चेतावनी नहीं दी होती तो नुकसान बहुत ज्यादा हो सकता था.
शुक्रवार शाम को बादल फटने से आई तबाही के बाद से ही एनडीआरएफ और आईटीबीपी के अलावा जम्मू-कश्मीर पुलिस-प्रशासन, बीएसएफ, भारतीय सेना और वायुसेना राहत और बचाव के कार्य में जुटी हुई है.
सेना के मुताबिक, शनिवार की सुबह मौसम साफ होने के चलते हेलीकॉप्टर के जरिए घायलों को बालटाल लाया गया. सेना के एएलएच-ध्रुव और चेतक हेलीकॉप्टर को राहत कार्य में लगाया गया है.
वायुसेना ने 500 फूड-पैकेट भी श्रीनगर से पंचतरणी (अमरनाथ यात्रा पर रुट) तक पहुंचाने का काम किया है.