Amarnath Yatra 2023: सेना के अधिकारी ने अमरनाथ यात्रा की तैयारियों का लिया जायजा, देखें तस्वीरें
अमरनाथ यात्रा 2023 की शुरुआत 1 जुलाई से होने जा रही है. उत्तरी कमान के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने सोमवार (19 जून) को यात्रा की तैयारियों का जायजा लिया. पवित्र अमरनाथ यात्रा 1 जुलाई शुरू होगी जो दो महीने तक चलेगी. वहीं, अमरनाथ यात्रा हर साल दो रास्तों से की जाती है, जो गांदरबल में बालटाल और अनंतनाग जिले के पहलगाम से होती है.
उत्तरी सेना के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने अमरनाथ यात्रा 2023 की चल रही तैयारियों की समीक्षा की, क्योंकि सेना यात्रा में प्रमुख भूमिका निभाती है. सेना कमांडर ने दोनों मार्गों पर व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया. जनरल द्विवेदी को गांदरबल में बालटाल के जरिए दक्षिणी मार्ग और अनंतनाग जिले में पहलगाम के जरिए उत्तरी मार्ग को लेकर बहुस्तरीय सुरक्षा व्यवस्था के बारे में जानकारी दी गई.
इस साल यात्रा को किसी भी अप्रिय घटना से मुक्त बनाने के लिए विशेष सुरक्षा व्यवस्था की गई है, जिसमें नाइट विजन डिवाइस, स्नाइपर्स और ड्रोन सिस्टम के जरिए से नाइट डोमिनेशन शामिल है.
सेना ने विशेष बम निरोधक दस्ते, डॉग स्क्वायड, काउंटर आईईडी उपकरण, वाहन मरम्मत और रिकवरी टीमों को काफिले की सुचारू आवाजाही सुनिश्चित करने के लिए तैनात किया है. बीआरओ, भारतीय वायु सेना और उच्च ऊंचाई वारफेयर स्कूल की टीमों के अलावा नागरिक एजेंसियों के साथ तालमेल किया जा रहा है.
यात्रा में तीर्थ यात्रियों के आने के लिए पवित्र गुफा मंदिर तक का रास्ता लगभग साफ है. सिविल एडमिनिस्ट्रेशन, एनजीओ और अन्य एजेंसियों के समन्वय से सेना मानवीय सहायता के लिए दोनों मार्गों पर विभिन्न बिंदुओं पर ऑक्सीजन सिलेंडर की व्यवस्था की गई है. साथ ही नियंत्रण कक्ष की विशेष व्यवस्था के साथ कई चिकित्सा टुकड़ी स्थापित कर रही है जो चौबीसों घंटे चालू रहेगी.
भक्तों को हवाई यात्रा की सुविधा प्रदान करने के लिए विभिन्न नागरिक उड्डयन एजेंसियों को शामिल किया गया है. सेना ने चिकित्सा की आपात स्थितियों से निपटने के लिए और अन्य हवाई लिफ्ट जरूरतों को पूरा करने के लिए कई जगहों पर हेलीपैड बनाए हैं.
सेना ने पवित्र यात्रा के दौरान आवास और आराम प्रदान करने के लिए विशेष शीतकालीन कपड़ों की व्यवस्था के साथ-साथ पर्याप्त तम्बू की सुविधा व्यवस्था की है. यहां कई यात्री शिविर भी स्थापित किए हैं. अमरनाथ यात्रा 2022 के दौरान बादल फटने के अनुभवों के आधार पर, नागरिक बचाव दलों और हिमस्खलन बचाव दलों को भी व्यवस्थित रूप से तैनात किया जाएगा.
अर्थ मूवर्स को पवित्र गुफा और आपात स्थिति के लिए रास्ते में कई स्थानों पर भी रखा जाएगा. दोनों मार्गों पर निर्बाध संचार नेटवर्क भी चालू कर दिया गया है. एसएफएफ की टुकड़ी भी लोगों की सुरक्षा पर नजर रखेगी.
इस साल यात्रा के निर्बाध और सफल संचालन को सुनिश्चित करने के लिए संयुक्त प्रशिक्षण, संयुक्त अभियान, संयुक्त अभ्यास और मॉक ड्रिल सहित सभी नागरिक एजेंसियों के साथ प्रयासों में तालमेल बिठाने के लिए एक सर्व समावेशी दृष्टिकोण का पालन किया गया है.
उत्तरी सेना कमांडर ने सभी एजेंसियों के अच्छे काम और उनके बीच तालमेल की सराहना की. उन्होंने उनकी सक्रिय कार्रवाई के लिए उनकी सराहना की और उन्हें भविष्य की चुनौतियों का सामना करने के लिए प्रेरित किया.