डर्मेटोमायोसाइटिस खतरनाक बीमारी जानें किस उम्र के लोगों को ज्यादा होती है
डर्मेटोमायोसाइटिस एक दुर्लभ प्रकार की ऑटोइम्यून बीमारी है, जो मांसपेशियों में सूजन और कमजोरी के साथ-साथ त्वचा पर चकत्ते उत्पन्न करती है. यह बीमारी मांसपेशियों और त्वचा दोनों को प्रभावित करती है, जिससे शारीरिक कमजोरी और थकान महसूस होती है.
डर्मेटोमायोसाइटिस दो मुख्य उम्र समूहों में अधिक देखा जाता है - पहला, बच्चों में, जिनकी उम्र 5 से 15 वर्ष के बीच होती है, और दूसरा, वयस्कों में, जिनकी उम्र 40 से 60 वर्ष के बीच होती है. यह बीमारी महिलाओं में पुरुषों की तुलना में अधिक आम है.
डर्मेटोमायोसाइटिस के मुख्य लक्षणों में त्वचा पर लाल चकत्ते, मांसपेशियों में दर्द और कमजोरी, थकान, और कभी-कभी बुखार शामिल हैं. यह बीमारी फेफड़ों, दिल, और जोड़ों को भी प्रभावित कर सकती है.
डर्मेटोमायोसाइटिस का उपचार मुख्य रूप से लक्षणों को कम करने और रोग की प्रगति को धीमा करने पर केंद्रित होता है. इसमें स्टेरॉयड और इम्यूनोसप्रेसिव दवाएं शामिल होती हैं, जो सूजन को कम करती हैं और इम्यून सिस्टम की गतिविधि को नियंत्रित करती हैं. इसके अलावा, फिजियोथेरेपी भी मांसपेशियों की कमजोरी और थकान को कम करने में मदद कर सकती है.
अगर आपको या आपके किसी परिचित को इस तरह के लक्षण दिखाई दें, तो तुरंत चिकित्सा सलाह लेना महत्वपूर्ण है. जल्दी पहचान और सही उपचार से इस बीमारी के प्रभाव को काफी हद तक कम किया जा सकता है.