सर्दियों के दिनों में क्यों बनता कोहरा , कोहरे और धुँध में क्या अंतर
दिन के समय पृथ्वी गर्म हो जाती है और रात में तापमान कम हो जाता है. सर्दियों के वक्त जमीन का तापमान इतना कम हो जाता है कि उसके संपर्क में आने वाली वायु का तापमान ओसांक बिंदु से नीचे चला जाता है.
कोहरा एक तरह का जलवाष्प है.
पाला बहुत ज्यादा सर्दी होने पर पड़ता है. जब वायु में उपस्थित जलवाष्प का तापमान जीरो डिग्री सेल्सियस से भी नीचे चला जाता है तो ओस की बूंदें संघनित होकर बर्फ के रुप में जमने लगती है, इसे ही पाला कहते हैं.
बता दें कि पाला फसलों के लिए काफी हानिकारक माने जाते हैं और फसल को काफी नुकसान होता है.
कोहरे का धुएं के साथ मिश्रण होने पर धुंध (Smog) का निर्माण होता है.
तकनीकी तौर पर कोहरे और धुंध में बस विजिबिलिटी यानी दृश्यता का फर्क होता है. यदि दृश्यता की सीमा एक किमी या इससे कम हो तो उसे कुहासा या धुंध कहते हैं.
जब जलवाष्प पूरी तरह से हवा को सैचुरेटेड करने लगता है तो पानी की बूंदें कंडेंस्ड होने लगती हैं, या फिर गैस से वापस तरल में बदल जाती हैं. तो ये बूंदें हवा में रह जाती हैं और एक मोटी धुंध के रूप में दिखाई देती हैं, जिसे कोहरे के रूप में जाना जाता है.