अमेरिका और रूस के बीच चल रहा तनाव थमता नजर नहीं आ रहा है. राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में रक्षा मंत्रालय को परमाणु हथियारों की टेस्टिंग का आदेश दिया था, जिसके बाद रूस की तरफ से भी प्रतिक्रिया आ गई है. क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेस्कोव ने कहा है कि रूस भी अमेरिका के एक्शन को देखकर ही अगला कदम उठाएगा.
क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेस्कोव ने कहा, ''राष्ट्रपति ट्रंप ने अपने बयान में जिक्र किया कि कथित तौर पर कुछ देश परमाणु हथियारों का परीक्षण कर रहे हैं. अब तक हमें नहीं पता चला है कि कोई उनका परीक्षण कर रहा है. अगर किसी तरह से भी इसका मतलब ब्यूरवेस्टिनक के परीक्षण से है, तो यह किसी भी तरह से परमाणु परीक्षण नहीं है.''
अमेरिका के खिलाफ कार्रवाई पर क्या बोला रूस
उन्होंने कहा, ''सभी देश अपनी रक्षा प्रणालिया विकसित कर रहे हैं, लेकिन यह परमाणु परीक्षण नहीं है. अमेरिका एक संप्रभु देश है और उसे अपने फैसले लेने का पूरा हक है, लेकिन मैं राष्ट्रपति पुतिन के बयान को याद दिलाना चाहूंगा, जिसे कई बार दोहराया गया है कि अगर अमेरिका परमाणु परीक्षण पर लगी रोक हटाता है तो उस स्थिति के हिसाब से कार्रवाई करेगा.''
रूस ने क्रूज मिसाइल का किया था परीक्षण
रूस ने 26 अक्टूबर को क्रूज मिसाइल के परीक्षण की जानकारी दी थी. रूस के इस कदम के कुछ ही दिनों के भीतर अमेरिकी राष्ट्रपति ने परमाणु हथियारों को परीक्षण का आदेश दे दिया. ट्रंप ने यह दावा भी किया कि परमाणु हथियार के मामले में अमेरिका सबसे आगे है.
आईएएनएस के मुताबिक 'फेडरेशन ऑफ अमेरिकन साइंटिस्ट' ने भारत समेत कुल 9 देशों के परमाणु हथियारों की संख्या की लिस्ट जारी की है. रिपोर्ट में 2025 के आंकड़े दिखाए गए हैं. इस रिपोर्ट के मुताबिक रूस के पास 5, 449 परमाणु हथियार हैं, जबकि नाटो देशों को मिलाकर 5792 परमाणु हथियार हैं. नाटो देशों में अमेरिका के पास 5277 परमाणु हथियार हैं.