Study The Impact of Sanctions: रूस पर लगे अंतरराष्ट्रीय प्रतिबंधों के भारत पर पड़ने वाले आर्थिक असर का सरकार आकलन कर रही है. इसके लिए वित्त मंत्रालय की अगुवाई में एक अंतर-मंत्रालय समूह गठित किया गया है. विदेश मंत्रालय प्रवक्ता ने कहा कि भारत की कोशिश है कि रूस के साथ होने वाले भारत के कारोबार में स्थायित्व रहे और प्रतिबंधों का असर न हो. बता दें कि पश्चिमी देशों के साथ चल रहे तनाव और यूक्रेन मामले पर जारी विवाद के बीच रूस ने अपने आयात को कम किया है. ऐसे में भारत के साथ उसका कारोबार भी प्रभावित हुआ है. भारत और रूस ने साल 2025 तक द्विपक्षीय कारोबार को 30 अरब डॉलर तक ले जाने का लक्ष्य रखा है. साथ ही निवेश को 50 अरब डॉलर तक करने का भी फैसला लिया है.


रूस पर लगे प्रतिबंधों का भारत पर असर का आकलन


आंकड़े बताते हैं कि 2013 के बाद से दोनों देशों के आपसी कारोबार में कमी के निशान नजर आए हैं. इसमें 2017-2018 के दौरान सुधार हुआ था. साल 2019 में भारत से द्विपक्षीय कारोबार करीब 10 अरब डॉलर का रहा. गौरतलब है कि यूक्रेन से जंग के बीच रूस कई वैश्विक प्रतिबंधों का सामना कर रहा है. इससे पहले अप्रैल के पहले हफ्ते में भी भारत ने साफ कर दिया था कि उसका ध्यान रूस के साथ अपने स्थापित आर्थिक रिश्तों को बनाए रखने और स्थिर करने को लेकर है.


अमेरिका समेत कई देशों ने लगाए हैं रूस पर प्रतिबंध


रूस और यूक्रेन के बीच 24 फरवरी 2022 से लगातार युद्ध जारी है. भारत यूक्रेन युद्ध को लेकर सीधे तौर से रूस की आलोचना करने से बचता रहा है हालांकि पीएम मोदी दोनों देशों के बीच शांति की दिशा में बातचीत को लेकर कई बार पहल कर चुके हैं. वही अमेरिका सीधे तौर से रूस की आलोचना न करने पर भारत पर दबाव बनाने की कोशिश करता रहा है. बता दें कि जंग शुरु होने के बाद अमेरिका समेत कई देशों ने रूस पर कई कड़े प्रतिबंध लगाए हैं.


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