Abhijeet Paruchuri Death In US: अमेरिका में भारतीय महावाणिज्य दूतावास ने बोस्टन में आंध्र प्रदेश के एक 20 वर्षीय छात्र की मौत की पुष्टि की है. भारतीय महावाणिज्य दूतावास ने सोमवार (18 मार्च) को कहा कि शुरुआती जांच में किसी भी तरह की गड़बड़ी से इनकार किया गया है.


न्यूयॉर्क में भारत के महावाणिज्य दूतावास ने अपने आधिकारिक X हैंडल से सोमवार (18 मार्च) को पोस्ट किया, ''बोस्टन में एक भारतीय छात्र अभिजीत पारुचुरी के दुर्भाग्यपूर्ण निधन के बारे में जानकर गहरा दुख हुआ. कनेक्टिकट स्थित पारुचुरी के माता-पिता डिटेक्टिव्स (जासूसों) के सीधे संपर्क में हैं. शुरुआती जांच में गड़बड़ी की आशंका से इनकार किया गया है.''


इंडियन कॉन्सुलेट ने आगे लिखा, ''भारतीय महावाणिज्य दूतावास ने पार्थिव शरीर के डॉक्युमेंटेशन और भारत के लिए ट्रांसपोर्टेशन में सहायता प्रदान की. हम इस मामले में स्थानीय अधिकारियों और भारतीय-अमेरीकी समुदाय के संपर्क में हैं.''






जंगल में कार में मिला था अभिजीत पारुचुरी का शव


मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अभिजीत पारुचुरू आंध्र प्रदेश के गुंटूर के मूल निवासी थे और बोस्टन विश्वविद्यालय में इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहे थे. उन्होंने पिछले साल विश्वविद्यालय में दाखिला लिया था. वह अपने एक क्लासमेट (सहपाठी) के साथ किराए के अपार्टमेंट में रह रहे थे. पुलिस को उसका शव कैंपस के जंगल के अंदर एक लावारिस कार में फेंका हुआ मिला था.


माता-पिता की इकलौती संतान और पढ़ाई में तेज थे अभिजीत पारुचुरी


अभिजीत के माता-पिता पारुचुरी चक्रधर और श्रीलक्ष्मी को जब इकलौते बेटे की दुखद मौत के बारे में पता चला तो उन्हें गहरा सदमा लगा. उनके परिजनों के मुताबिक, अभिजीत पढ़ाई-लिखाई में बहुत तेज थे, लेकिन उनकी मां ने विदेश में पढ़ाई की योजना का विरोध किया था.


11 मार्च को किया गया था अभिजीत पारुचुरी पर हमला- मीडिया रिपोर्ट्स


अभिजीत पारुचुरी का पार्थिव शरीर शुक्रवार देर शाम गुंटूर के बुर्रिपालेम स्थित उनके आवास पर लाया गया. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, 11 मार्च को विश्वविद्यालय परिसर में हमलावरों ने अभिजीत की हत्या कर दी और उनका शव जंगल में एक कार में पाया गया.


अमेरिका में आंंध्र प्रदेश के छात्र की मौत के मामले में नहीं हुई कोई गिरफ्तारी


अभिजीत के जानने वालों ने जब पुलिस को उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट की तो अधिकारियों ने उनके मोबाइल सिग्नलों को ट्रैक करके उनका पता लगाने के लिए खोज अभियान शुरू किया था. मामले में अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है.


सोशल मीडिया पर फूट रहा यूजर्स का गुस्सा


अभिजीत को लेकर सोशल मीडिया पर कई यूजर्स ने पोस्ट करते हुए स्वतंत्र जांच की मांग की है और अमेरिका में भारतीय छात्रों पर होने वाले हमलों का मुद्दा उठाया है. एक छात्र ने सोशल मीडिया पर यहां तक लिखा कि अमेरिका रहने के लिए सुरक्षित स्थान नहीं है.


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