रूस (Russia) और यूक्रेन (Ukraine) के बीच तनाव खत्म नहीं हो रहा है और दोनों देशों के बीच युद्ध की आशंका अब भी बनी हुई है. अमेरिका, फ्रांस और कुछ अन्य देश युद्ध टालने की कोशिश में लगे हैं, लेकिन अभी बात बनती नहीं दिख रही है. वहीं अगर इन दोनों देशों के बीच युद्ध होता है तो इसका पूरी दुनिया पर व्यापक असर पड़ेगा. यह युद्ध कैसे पूरी दुनिया को प्रभावित कर सकता है इसे जानने के लिए हमने विदेश मामलों के विशेषज्ञ कमर आगा से बात की.


1. तेल और नेचुरल गैस की कीमतों पर असर


अगर रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध होता है तो सबसे पहला और व्यापक असर तेल और नेचुरल गैस की कीमतों पर पड़ेगा. दरअसल, यूरोप के अधिकतर देश तेल औऱ नेचुरल गैस के लिए रूस पर ही निर्भर हैं. युद्ध होने पर अगर रूस के तेल की सप्लाई रुक सकती है ये सबसे ज्यादा पश्चिमी यूरोप देशों पर बुरा असर डालेगा. सप्लाई नहीं भी रकती है तो इसकी कीमत बढ़ जाएगी. अभी सिर्फ तनाव में ही 100 डॉलर प्रति बैरल तक रेट पहुंच गए हैं. युद्ध होता है तो इसके 125-130 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच जाएगा. युद्ध के दौरान अचानक विकल्प भी तलाशा नहीं जा सकता, क्योंकि तेल को लेकर हर देश का सप्लाई को लेकर नियम पहले से तय होता है. कोई भी देश अचानक किसी को सप्लाई नहीं कर सकता.


2. आर्थिक संकट


रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध होने पर पूरी दुनिया आर्थिक संकट में आ सकती है. जैसा कि हमने ऊपर बताया कि तेल की कीमतें पहले ही चीजें काफी हद तक बिगाड़ चुकी होंगी. वहीं, युद्ध से दुनिया भर के देशों के मार्केट पर असर होगा. विदेशी मुद्रा बाजार में अनिश्चितता का माहौल बना रहेगा और आर्थिक मंदी आ सकती है. कोरोना महामारी ने पहले ही पूरी दुनिया की अर्थव्यवस्था को बहुत पीछे धकेल दिया है.


3. दो पक्षों में बंट जाएगी दुनिया


युद्ध होने पर दुनिया दो हिस्सों में बंट सकती है. जैसा कि अमेरिका साफ कह चुका है कि अगर युद्ध होता है तो वह न सिर्फ रूस पर बल्कि उसका साथ देने वाले देशों पर भी कड़े प्रतिबंध लगाएगा. वहीं दूसरे यूरोपियन देश भी यूक्रेन के साथ खड़े नजर आ रहे हैं. उन्होंने कहा है कि वह युद्ध में बेशक शामिल न हों लेकिन यूक्रेन की हर संभव मदद करेंगे. इंग्लैंड और फ्रांस जैसे देशों ने हथियार या दूसरी चीजें भेजकर अभी से मदद शुरू कर दी है. ऐसे में रूस के साथ वाले देश और यूक्रेन के साथ वाले देश दो हिस्सों में बंट जाएंगे. ऐसी स्थिति में युद्ध बड़ा लंबा खिंच सकता है और यह द्वितीय विश्वयुद्ध से भी खतरनाक हो सकता है.  


4. यूक्रेन बन सकता है दूसरा अफगानिस्तान


अगर युद्ध होता है और रूस यूक्रेन में दाखिल होती है तो यूक्रेन दूसरा अफगानिस्तान बन सकता है. ऐसी स्थिति में रूस को नुकसान भी हो सकता है. यह ठीक वैसा ही होगा जैसा 1992 में अफगानिस्तान के साथ हुआ था. वहां रूस काफी दिनों तक फंसा रहा. अंत में उसे अधूरे मिशन के साथ लौटना पड़ा. सोवियत संघ भी टूट गया.


5. नहीं रुकेगा युद्ध


अगर युद्ध होता है तो इसे रोक पाना किसी के लिए भी संभव नहीं होगा. दरअसल अब रूस विघटन के बाद वाला रूस नहीं है. उसने खुद को कई तरह से शक्तिशाली बना लिया है. मध्य एशिया में उसका अच्छा दबदबा है. उसके पास आधुनिक हथियार हैं. परमाणु हथियार के मामले में भी रूस किसी पर भारी पड़ सकता है. वहीं यूक्रेन के साथ अमेरिका और कई बड़े यूरोपियन देश खड़े हैं. ये सभी बहुत ताकतवर हैं. ऐसे में इस जंग को जल्दी कंट्रोल कर पाना संभव नहीं होगा.


6. गेहूं का संकट


युद्ध होने पर दुनियाभर में गेहूं का संकट भी हो सकता है. दरअसल, यूक्रेन, रूस, कजाकिस्तान और रोमानिया दुनियाभर में बड़ी मात्रा में गेहूं निर्यात करते हैं. युद्ध होने पर यह निर्यात बाधित होगा.


7. भारत पर असर


अगर भारत पर इसके असर को देखें तो आर्थिक संकट होने पर भारत की अर्थव्यवस्था भी डांवाडोल हो जाएगी, लेकिन संबंधों के लिहाज से भारत को ज्यादा नुकसान नहीं होगा. दरअसल भारत ने इस मामले में शुरू से बातचीत पर जोर दिया है. रूस ने भी उसकी तारीफ की है.


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