लखनऊ. यूपी बोर्ड परीक्षा परिणाम घोषित होने का समय जैसे-जैसे नजदीक आ रहा है, वैसे ही परीक्षा से जुड़े अध्यापकों या कर्मचारियों के नाम से पैसे मांगने की फोन कॉल आ रही है. देश के सबसे बड़े परीक्षा बोर्ड यूपी बोर्ड में धांधली की शिकायत अक्सर आती हैं. यूपी के आजमगढ़ में दो छात्रों के पास एक ऐसी ही कॉल आई है. ये शहर के फूलपुर कोतवाली क्षेत्र का मामला है. आपको बता दें कि इससे पहले भी ऐसी ही शिकायत शहर के निजामाबाद क्षेत्र से आई थी. 27 जून को यूपी बोर्ड के रिजल्ट जारी किया जाएगा.


पुलिस में दर्ज शिकायत के अनुसार आजमगढ़ के मुकेरीगंज मुहल्ला निवासी व 12वीं के छात्र करूणेश सिंह ने शहर कोतवाली में तहरीर देकर आरोप लगाया है कि बोर्ड के कर्मचारी के नाम पर उसके पास फोन आया. फोन करने वाले ने छात्र से कहा कि तुम्हारे गणित विषय में पांच नंबर कम है और तुम फेल हो जाओगे. इसके अलावा उसने कहा कि अगर तुम पास होना चाहते हो तो इस अकाउंट नंबर पर साढ़े तीन हजार रुपये भेज दो. मैं तुम्हारे नंबर बढ़ाकर पास करा दूंगा. छात्र द्वारा पूछे जाने पर कि पैसा कहां भेजा जाये. तब फोन करने वाले ने संदीप कुमार नाम से एसबीआई का खाता नंबर दिया.


करूणेश ने कोतवाली में इस संबंध में शिकायत दर्ज करवाई है. दूसरी तरफ एक अन्य मामले में फूलपुर के बहाउद्दीनपुर निवासी शिव प्रजापति पुत्र रामचंद्र ने भी फूलपुर कोतवाली में तहरीर दी है. इसके मुताबिक रामचंद्र ने बताया कि बोर्ड कर्मचारी के नाम से उसके पास फोन आया था, जिसमें  फोन करने वाले ने कहा कि तुम्हारे भौतिक व रसायन विज्ञान में कम नंबर हैं और पास होना चाहते हो तो चार हजार रुपये भेज दो तो नंबर बढ़ा दूंगा.


वहीं दीदारगंज थाना क्षेत्र के वारी गांव निवासी सतेंद्र पुत्र महेंद्र  के मोबाइल पर फोन आया कि तुम्हारा टोटल नंबर काफी कम है. चार हजार भेज दो तो 80 प्रतिशत नंबर कर दूंगा. साढ़े चार हजार भेजोगे तो 82 प्रतिशत कर दूंगा. ये दोनों छात्र जनता इंटर कालेज अंबारी के इंटरमीडिएट के छात्र हैं. दोनों ने अपने-अपने थानों पर तहरीर दी है.


इस पूरे मामले पर आजमगढ़ के डीआईओएस ने कहा कि अभी मुझे जानकारी नहीं है. लेकिन ऐसा हुआ है तो इसकी शिकायत बोर्ड से की जाएगी. उन्होंने कहा कि जिन नंबरों से फोन आ रहा है, उन नंबरों की जांच की जाए.

ये भी पढ़ें.


UP: इलाहाबाद हाईकोर्ट पहुंचा कानपुर शेल्टर होम में कथित शोषण का मामला, SC के वकील ने भेजी चीफ जस्टिस को चिट्ठी