लखनऊ: भारतीय जनता पार्टी ने आरोप लगाया कि एसपी सरकार के समय उत्तर प्रदेश के कुछ सरकारी स्कूलों का इस्लामीकरण कर दिया गया था. बीजेपी प्रदेश प्रवक्ता शलभ मणि त्रिपाठी ने कहा, 'एसपी सरकार के दौरान प्रदेश के कुछ सरकारी स्कूलों का इस्लामीकरण किए जाने का प्रकरण गंभीर है और योगी आदित्यनाथ की सरकार ने इस मामले में सख्त कार्रवाई के आदेश दिए हैं.'
उन्होंने कहा, 'शिक्षा विभाग के अधिकारियों से कहा गया है कि वे अपने-अपने जिलों में जांच कराकर सुनिश्चित कराएं कि किसी भी सरकारी स्कूल में इस्लामिक शिक्षा व्यवस्था न चलने पाए और बच्चों को आधुनिक शिक्षा मुहैया कराई जाए.'
त्रिपाठी ने बताया कि इस दिशा में देवरिया के प्रशासनिक अधिकारियों को भी ऐसे लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा गया है, जिन्होंने सरकारी प्राइमरी स्कूलों में इस्लामिक शिक्षा पद्धति लागू करने का प्रयास किया था.
प्रवक्ता ने कहा कि एसपी सरकार ने तुष्टीकरण के लिए तमाम ऐसे फैसले लिए जो प्रदेश के खिलाफ थे. 'किसे याद नहीं है कि महज मुस्लिम वोटों को खुश करने की खातिर एसपी सरकार ने एक वक्त आतंकियों तक के मुकदमे वापस लेने का फैसला किया था. इतना ही नहीं मुजफ्फरनगर दंगों के आरोपी कुछ मौलानाओं को बकाएदे सरकारी हेलीकाप्टर से बुलवाकर मुख्यमंत्री आवास में भोजन तक कराया गया.'
उन्होंने कहा कि इसी का नतीजा है कि अखिलेश सरकार में कुछ कट्टरपंथियों ने सरकारी स्कूलों के कायदे कानून बदलकर वहां इस्लामिक शिक्षा पद्धति कायम कर दी और एसपी सरकार चुपचाप यह अराजकता देखती रही.
त्रिपाठी ने कहा कि इन स्कूलों में रविवार की जगह शुक्रवार को छुट्टी दी जाने लगी और उर्दू में पढ़ाई शुरू करा दी गई. हैरानी की बात यह है कि सरकारी स्कूल होते हुए भी एसपी सरकार में इन स्कूलों में इस्लामिक कानून चलते रहे और सरकार ने कोई कार्रवाई नहीं की.
प्रवक्ता ने कहा कि प्रकरण संज्ञान में आते ही प्रदेश सरकार ने इन स्कूलों को चिन्हित कर कार्रवाई शुरू कर दी है. इन स्कूलों में सरकारी कायदे-कानून लागू कर दिए गए हैं और ऐसे लोगों के खिलाफ कार्रवाई के आदेश दिए गए हैं जिन्होंने सरकारी स्कूलों में इस्लामिक शिक्षा पद्धति लागू करने की कोशिश की.
त्रिपाठी ने कहा कि बच्चों से जुड़ी शिक्षा व्यवस्था में धर्म की आड़ लेकर किया गया ये प्रयास अपराध की श्रेणी में आता और ऐसे में जो लोग भी दोषी पाए जायेंगे, उनके खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई भी होगी.