चुनाव आयोग ने देश के 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में SIR के दूसरे चरण को लागू करने का ऐलान कर दिया है. इसको लेकर जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर ने कहा कि बिहार में SIR लागू होने से क्या हो गया, कुछ लोगों को दिक्कत हुई, लेकिन कोई फर्क नहीं पड़ा.
प्रशांत किशोर ने कहा, 'SIR बिहार में किया गया, इससे क्या फर्क पड़ा? क्या किसी का नाम काटा गया? कुछ लोगों को मुश्किलों का सामना करना पड़ा. भाजपा चाहे जितनी कोशिश कर ले, वो किसी का नाम हटाना चाहेगी, किसी को डराना चाहेगी और किसी को परेशान करना चाहेगी.'
'जनता देगी भाजपा को जवाब'
प्रशांत किशोर ने आगे कहा, 'अगर जब जनता आपके खिलाफ हो जाएगी तो कोई भी SIR या FIR कर दें, आपको बचाने वाला कोई नहीं होगा.' उन्होंने कहा कि बंगाल में भी भाजपा के साथ ऐसा ही हुआ. इसलिए भाजपा को जितनी ताकत लगानी है लगा ले, जनता इसका जवाब दे देगी.
बिहार में विशेष गहन पुनरीक्षण को लेकर चुनाव आयोग ने कहा कि बिहार में मतदाता सूची को दुरुस्त करने का काम पूरा हो चुका है, जहां लगभग 7.42 करोड़ मतदाताओं की अंतिम सूची बीते 30 सितंबर को प्रकाशित की गई थी. राज्य में मतदान दो चरणों में, 6 नवंबर और 11 नवंबर को होगा और मतगणना 14 नवंबर को होगी.
इन 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में SIR होगा लागू
आयोग SIR कराने की रूपरेखा को अंतिम रूप देने के लिए राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों (सीईओ) के साथ पहले ही दो बैठकें कर चुका है. कई सीईओ ने अपनी पिछली SIR के बाद की मतदाता सूचियां अपनी वेबसाइटों पर डाल दी है.
मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने सोमवार को कहा कि बिहार के बाद अब देश के 12 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) की कवायद शुरू होगी. दूसरे चरण में छत्तीसगढ़, गोवा, गुजरात, केरल, मध्य प्रदेश राजस्थान, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश और पश्चिम बंगाल, पुडुचेरी, अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह और लक्षद्वीप में एसआईआर कराया जाएगा.
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