नई दिल्ली: जम्मू-कश्मीर के पीपुल्स मूवमेंट की नेता शेहला राशीद राजद्रोह के मामले पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. शेहला ने कहा कि उनके खिलाफ दर्ज राजद्रोह का मामले "तुच्छ", "राजनीति से प्रेरित" और उन्हें चुप कराने का "दयनीय प्रयास" है. रशीद ने उनके खिलाफ दर्ज मामले पर अपनी प्रतिक्रिया ट्वीट के जरिए जाहिर की.


पुलिस ने शुक्रवार को कहा कि राशीद पर उनके ट्वीट को लेकर राजद्रोह का मामला दर्ज किया गया है. उन्होंने आरोप लगाया था कि जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा वापस लिए जाने के बाद सशस्त्र बलों ने घाटी में आम नागरिकों को "प्रताड़ित" किया और घरों में "तोड़फोड़" की.


रशीद को मीडिया में आई खबरों से पता चला कि दिल्ली पुलिस के विशेष प्रकोष्ठ ने उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है. उन्होंने कहा, "प्राथमिकी ओछी, दुर्भावनापूर्ण और मुझे चुप कराने का हद दर्जे का प्रयास है" शेहला ने आगे कहा, "मैं संविधान के अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को रद्द किए जाने को संवैधानिक चुनौती देने के मामले में एक याचिकाकर्ता हूं. सुप्रीम कोर्ट में हमारी याचिका इसे बहाल करने के संबंध में एक मजबूत पक्ष रखती है. मेरे ट्वीट में मैंने स्पष्ट तौर पर उल्लेख किया था कि ये राज्य के लोगों से मिली सूचना पर आधारित है."


रशीद ने कहा, "ऐसी स्थिति जहां संवाददाताओं को खबर देने की इजाजत नहीं, मीडिया, सोशल मीडिया, टेलीफोन और पत्र व्यवहार पर रोक लगी हुई हो, यह जरूरी था कि विमर्शों को लोगों के सामने रखा जाए. इससे देश के अन्य हिस्सों में रह रहे लोगों को पता चले कि जम्मू-कश्मीर में क्या हो रहा है."


उन्होंने ट्विटर पर लिखा, "एक राजनीतिक कार्यकर्ता के तौर पर मैं अपना काम कर रही थी. जिन ट्वीट के लिए मुझ पर निशाना साधा जा रहा है, उनमें मैंने लोगों तक सुविधाएं सुनिश्चित करने के प्रशासन के सकारात्मक कार्यों का जिक्र किया. यह अपने आप में सबूत है कि मेरा मकसद बस सच पर प्रकाश डालना था जिसका जिक्र भारत और अन्य स्थानों पर प्रकाशित खबरों में भी किया गया. मैं कश्मीर के लोगों के अधिकारों को बहाल करने की जंग में वहां के लोगों के साथ खड़ी हूं."


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