नई दिल्ली: कोरोना काल में सोशल मीडिया पर एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है. इस वायरल वीडियो के जरिए झूठ फैलाकर लोगों को भ्रमित किया जा रहा है. वायरल वीडियो में दावा है कि मंदिर को क्वॉरंटीन सेंटर बनाया गया और उसके अंदर मुसलमानों को रखा गया है और आंध्र प्रदेश के सीएम जगनमोहन रेड्डी को इसके लिए जिम्मेदार ठहराया जा रहा है. जानें दावे की पड़ताल में वीडियो का सच.


क्या दावा किया जा रहा है?


जो वीडियो वायरल है, उसके मैसेज में लिखा है, ‘’ये आंध्र प्रदेश के कनिपकम गणेश मंदिर चित्तूर का वीडियो है. मंदिर को मुस्लिमों के लिए क्वॉरंटीन सेंटर बनाया गया.’’


ट्वीटर पर कोलाथुर रामबाबू नाम के यूजर ने वीडियो शेयर करते हुए लिखा है, ‘’आंध्र प्रदेश के धर्मनिरपेक्ष मुख्यमंत्री कनिपकम गणेश मंदिर चित्तूर को क्वॉरंटीन सेंटर के रूप में इस्तेमाल कर रहे हैं. मस्जिद और चर्च का क्यों नहीं? वो चप्पल पहनकर हमारे मंदिर के अंदर घूम रहे हैं. आखिर हिंदुओँ को इस पक्षपाती रवैये को सहन करने की क्या जरूरत है? जागो हिंदुओं. जय श्री राम.’’



ABP न्यूज की पड़ताल में सामने आया सच


देश को गुमराह होने से बचाने के लिए ABP न्यूज ने इस भ्रामक दावे की पड़ताल शुरू की.  गूगल मैप्स पर श्री गणेश सदन सर्च किया तो पता चला ये आंध्र प्रदेश के चित्तूर जिले में स्थिति इंडोर लॉज है. गूगल मैप्स से हमें इस लॉज की कई तस्वीरें मिलीं.


हमारी टीम ने वायरल वीडियो और गूगल मैप्स से मिली लॉज की तस्वीरों को मिलाना शुरू किया. वीडियो कनिपकम गणेश मंदिर का नहीं बल्कि यात्रियों के रुकने के लिए बनी एक लॉज का है, जिसके प्रवेश द्वार पर गणेश की प्रतिमा है पर ये मंदिर नहीं है और प्रशासन ने मंदिर को नहीं बल्कि एक लॉज को क्वॉरंटीन सेंटर बनाया है.


पड़ताल में वायरल वीडियो मंदिर के बताए जाने का दावा झूठा साबित हुआ है.


इंटरनेट पर फैल रहे हर दावे और अफवाह का सच जानने के लिए सोमवार से शुक्रवार एबीपी न्यूज़ पर 8.30 बजे 'सच्चाई का सेंसेक्स जरुर देखें.