Ramesh Bidhuri Objectionable Remark: लोकसभा में बीजेपी सांसद रमेश बिधूड़ी के बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सांसद दानिश अली के खिलाफ अमर्यादित टिप्पणी के मामले में एक्शन की तैयारी शुरू हो गई है. ABP न्यूज़ से जुड़े सूत्रों ने बताया है कि लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने इस संबंध में लोकसभा सचिवालय को विशेष निर्देश दिया है. सत्र के आखिरी दिन चंद्रयान-3 की सफलता पर चर्चा के दौरान जब यह विवाद हुआ, उस समय के सारे एविडेंस कलेक्ट करने को कहा है.


बिरला ने आदेश दिया है कि सदन की कार्यवाही के समय जब चंद्रयान-3 पर चर्चा शुरू हुई, उस समय के सारे रिकॉर्ड कलेक्ट कर, उनके सामने पेश किया जाए. इसमें वीडियो फुटेज, लोकसभा का रिकॉर्ड और सदन के अन्य सदस्यों द्वारा दिए गए पत्र को भी शामिल करने को कहा गया है.


यह भी पता चला है कि इस मामले में पेश किए गए सभी तथ्यों को ठीक से देखने और सघन जांच पड़ताल के बाद लोकसभा अध्यक्ष इसे एथिक्स कमेटी को भेज सकते हैं. सांसदों के खिलाफ विशेष अधिकार हनन के मामले में एथिक्स कमेटी जरूरी फैसले लेती है. इससे रमेश बिधूड़ी की मुश्किलें बढ़ सकती हैं.


सांसद दानिश पर भी अपशब्द कहने का आरोप


हालांकि इस मामले में सांसद दानिश अली पर भी अपशब्दों के इस्तेमाल के आरोप लगे हैं. बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने यह भी दावा किया है कि चंद्रयान-3 पर जब चर्चा चल रही थी तब सांसद दानिश अली ने पीएम मोदी के खिलाफ अपशब्दों का इस्तेमाल किया था. अली ने भी पीएम को “नीच” कहा. दुबे ने भी ओम बिरला को पत्र लेकर दानिश अली के खिलाफ जांच करने और मामले को एथिक्स कमेटी में भेजने की मांग की है.


इधर, कांग्रेस के अधीर रंजन चौधरी, एनसीपी के सुप्रिया सुले और बीएसपी के दानिश अली ने लोकसभा स्पीकर को एक पत्र लिखकर इस मामले में जांच का आग्रह किया है.


क्या होती है एथिक्स कमिटी


सांसदों के अमर्यादित आचरण या उनके खिलाफ होने वाले अत्याचार की जांच कर कार्रवाई की अनुशंसा का अधिकार एथिक्स कमेटी का है. लोकसभा वेबसाइट के मुताबिक एथिक्स समिति में कुल 15 सदस्य होते हैं, इसमें सदन में संख्या के आधार पर पार्टी नेताओं को जगह मिलती है.


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