मुंबई: मेहुल चौकसी और नीरव मोदी ने न सिर्फ बैंकों में घोटाला किया बल्कि फर्जी कंपनियां और फर्जी डायरेक्टर बनाकर सरकार की आंखों में धूल झोंकी. एबीपी न्यूज ने सीबीआई की एफआईआर में दर्ज डायरेक्टरों की तहकीकात की तो पता चल रहा है कि एक कमरे के मकान में रहने वाले भी अरबों की कंपनी के डायरेक्टर बना दिए गए थे.


प्रवर्तन निदेशालय ने नीरव मोदी और मेहुल चौकसी के मुंबई में 4 ठिकानों पर छापे मारे. ओपेरा हाउस, पेद्दार रोड, गोरेगांव ईस्ट और पवई में कंपनी के ठिकानों पर छापे मारे गए हैं. जिन ठिकानों पर छापे मारे गए हैं वो कागजी कंपनियां हैं जिन्हें कागजों पर तो दिखाया गया लेकिन उनका कोई वजूद नहीं था.


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शक है कि मामा भांजे ने इस तरह की 200 के करीब शेल और बोगस कंपनियां बनाईं थीं जिनके जरिए घोटालेबाजी का खेल खेला जा रहा था. इतना ही नहीं इन कंपनियों ने बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स में भी तमाम फर्जी नाम शामिल किए. सीबीआई की दर्ज दूसरी एफआईआर में गीतांजलि जेम्स लिमिटेड कंपनी के डायरेक्टर पंखुड़ी अभिजीत वारंगे का भी नाम शामिल है.


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सीबीआई की एफआईआर में उनका जो पता लिखा है वो 601, साईंधाम अपार्टमेंट, मुलुंड ईस्ट, मुम्बई लिखा है. एबीपी न्यूज़ की टीम जब पंखुड़ी अभिजीत वरंगे को ढूंढते हुए यहां पहुंची तो घर के अंदर मौजूद महिला ने बताया कि यहां वो किराये पर रहती है और अभिजीत वरंगे यहां नही रहते हैं. बातचीत में महिला ने बताया कि घर पंखुड़ी अभिजीत वारंगे का ही है. लेकिन वो अब कहा रहते है इन्हें नही पता.


एबीपी न्यूज़ की पड़ताल में ये बात सामने आई कि नीरव मोदी और मेहुल चौकसी की कंपनियों में जिन लोगो को डायरेक्टर दिखाया गया है वो छोटी छोटी चॉल में रहने वाले लोग हैं जिन्हें शायद पता भी नही की वो इतनी बड़ी बड़ी कंपनियों में डायरेक्टर हैं. पड़ताल में कुछ आरोपियों के पते वो नहीं निकले जो एफआईआर में दर्ज हैं.