राजनीति में आगे बढ़ने की महत्वाकांक्षा एक ऐसी चीज है जो अक्सर दो नेताओं के बीच की दोस्ती को ज्यादा दिनों तक नहीं टिकने देती है. टीवी या अखबार में हम नेताओं के बीच आरोप-प्रत्यारोप, तीखी बहस, और एक दूसरे के प्रति द्वेष रखने वाली खबरें तो सुनते ही आए हैं.


लेकिन आपको ये जानकर हैरानी होगी कि कई बार विपक्ष के दो नेताओं की बीच गहरी दोस्ती भी होती है. तमाम असहमतियों के बीच कुछ नेता ऐसे भी हैं जो दोस्ती निभाने में कामयाब रहे हैं.


इसी लिस्ट में हमारे देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नाम भी शामिल है. इस 17 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जन्मदिन है. वैसे तो आपने पीएम नरेंद्र के कई किस्से सुने होंगे लेकिन एक ऐसी कहानी भी है जो उन्हें अन्य नेताओं से अलग बनाती है. पीएम मोदी राजनीति के उस चंद नेताओं में शामिल हैं जिन्होंने विपक्ष के कुछ नेताओं के साथ अच्छे संबंध हैं. इस खबर में हम आपको भारतीय राजनीति की एक अलग तस्वीर दिखाएंगे. वह तस्वीर जो अमूमन लोगों से छिपी रहती है.  


फारुख अब्दुल्ला 


पीएम नरेंद्र मोदी और जम्मू कश्मीर से नेशनल कांफ्रेंस के सांसद फारूक अब्दुल्ला की 7 अगस्त की तस्वीरें चर्चा में आई थीं.  आजादी के अमृत महोत्सव के लिए गठित तीसरी समिति की बैठक की तस्वीर में पीएम मोदी और फारुख अब्दुल्ला साथ-साथ साफ नजर आए.


इस तस्वीर में साफ देखा जा सकता है कि राजनीति जिस रूप में हमें चीजों को दिखाती है, वैसी असल जिंदगी में होती नहीं है. नेशनल कॉन्फ्रेंस के प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला के पीएम मोदी से अच्छे संबंध रहे हैं. उन्होंने कई मौको पर पीएम मोदी की तारीफ की है.


हाल ही में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर नेशनल कॉन्फ्रेंस के प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला ने केंद्र सरकार और पीएम मोदी की तारीफ की थी. उन्होंने कहा था कि देश आजादी से पहले एक सुई नहीं बना पा रहा था लेकिन आज इतना आगे बढ़ चुका है कि अन्य देशों को अनाज बेच रहा है. लेकिन यहां गौर करने वाली बात ये है कि जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 खत्म करने के बाद फारूक अब्दुल्ला और उनके बेटे सहित विपक्ष के तमाम नेताओं को नजरबंद कर दिया गया था. 


फारूक उसी समय से मोदी सरकार की जमकर आलोचना कर रहे हैं. उन्होंने इसके लिए गुपकार नाम का संगठन भी बनाया है जिसमें पीडीपी की प्रमुख और राज्य में उनकी विरोधी महबूबा मुफ्ती भी शामिल हैं. 





गुलाम नबी आजाद


10 फरवरी 2021 को राज्यसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भावुक होने पर कांग्रेस से इस्तीफा दे चुके वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) ने कहा कि था कि मैं खुश किस्मत हूं कि मेरे सभी से अच्छे रिश्ते रहे हैं. उन्होंने पीएम से अपने अच्छे संबंध को साफ करते हुए कहा था कि व्यक्तिगत रूप उनके सभी प्रधानमंत्री से अच्छे रिश्ते रहे हैं चाहे वो अटल विहारी वाजपेयी हों, एचडी देवगौड़ा हो, या फिर पीएम मोदी ही क्यों ना हों. 





अखिलेश यादव


भाजपा की केंद्र और राज्य सरकार पर हमेशा हमलावर रहे समाजवादी पार्टी के मुखिया और यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव के भी पीएम मोदी से व्यक्तिगत रूप से अच्छे संबंध हैं. इसकी एक झलक आजादी के अमृत महोत्सव के लिए गठित तीसरी समिति की बैठक में नजर आई थी.  75वीं वर्षगांठ पर सत्ता पक्ष के सबसे बड़े नेता के साथ विपक्ष के दिग्गजों की तस्वीरों भी सामने आई थी. इन तस्वीरों में अखिलेश यादव भी शामिल थे. 





मुलायम सिंह यादव


सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव के पीएम से कितने अच्छे संबंध हैं ये बात तो किसी से छुपी नहीं है. पिछले साल ही लोकसभा में बजट सत्र के आखिरी दिन उन्होंने अपने भाषण के दौरान पीएम नरेंद्र मोदी की तारीफ की थी. उन्‍होंने पीएम मोदी की तारीफ के पुल बांधते हुए कहा था कि पीएम ने हमेशा जायज काम किया है. उन्‍होंने हमेशा हमारी मदद की है. इसी कड़ी में मुलायम सिंह ने कहा कि हम सब चाहते हैं कि नरेंद्र मोदी फिर से प्रधानमंत्री बनें.





जगन रेड्डी 


TDP एक बार फिर NDA में वापसी कर सकती है. इस बीच उनके और पीएम नरेंद्र मोदी के रिश्ते भी बेहतर हुए हैं. इस वापसी की अटकलें चंद्रबाबू नायडू के दिल्ली दौरों के बाद लगाई जाने लगी. वहीं राजनीति में एक दूसरे के साथ बनते बिगड़ते रिश्ते के बीच भी कई बार जगन रेड्डी पीएम नरेंद्र मोदी की तारीफ कर चुके हैं.





जगन रेड्डी जून 2004 से वाई एस आर कांग्रेस पार्टी के एक भारतीय राजनीतिज्ञ और आंध्र प्रदेश के वर्तमान मुख्यमंत्री हैं.  वह आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री, वाईएस के बेटे हैं