नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज विश्व युवा कौशल दिवस के मौके पर लोगों को संबोधित किया. पीएम मोदी ने कहा, कोरोना के इस संकट ने World Culture के साथ ही Nature of Job को भी बदलकर के रख दिया है. बदलती हुई नित्य नूतन टेक्नोलॉजी ने भी उस पर प्रभाव पैदा किया है. स्किल की ये ताकत जो है, इंसान को कहां से कहां पहुंचा सकती है. साथियों, एक सफल व्यक्ति की बहुत बड़ी निशानी होती है कि वो अपनी स्किल बढ़ाने का कोई भी मौका जाने ना दे.


पीएम मोदी ने कहा, स्किल के प्रति अगर आप में आकर्षण नहीं है, कुछ नया सीखने की ललक नहीं है तो जीवन ठहर जाता है. एक रुकावट सी महसूस होती है. एक प्रकार से वो व्यक्ति अपने व्यक्तित्व को, अपनी पर्सनालिटी को ही बोझ बना लेता है. वहीं स्किल के प्रति आकर्षण, जीने की ताकत देता है, जीने का उत्साह देता है. स्किल सिर्फ रोजी-रोटी और पैसे कमाने का जरिया नहीं है. जिंदगी में उमंग चाहिए, उत्साह चाहिए, जीने की जिद चाहिए, तो स्किल हमारी ड्राइविंग फोर्स बनती है, हमारे लिए नई प्रेरणा लेकर आती है.


पीएम मोदी ने कहा- आज स्किल लोगों की जरूरत है
पीएम मोदी ने कहा, कुछ लोग नोलेज और स्किल को लेकर के हमेशा कंफ्यूजन में रहते हैं, या कंफ्यूजन पैदा करते हैं. आज भारत में नोलेज और स्किल, दोनों में जो अंतर है, उसे समझते हुए ही काम हो रहा है. तेजी से बदलती हुई आज की दुनिया में अनेक सेक्टरों में लाखों स्किल लोगों की जरूरत है. विशेषकर स्वास्थ्य सेवाओं में तो बहुत बड़ी संभावनाएं बन रही हैं.


मोदी ने आगे कहा, चार-पांच दिन पहले देश में श्रमिकों की स्किल मैपिंग का एक पोर्टल भी शुरू किया गया है. यह पोर्टल स्किल्ड लोगों को, स्किल्ड श्रमिकों की मैपिंग करने में अहम भूमिका निभाएगा. इससे एंप्लॉयर एक क्लिक में ही स्किल्ड मैप वाले वर्कर्स तक पहुंच पाएंगे. छोटी-बड़ी हर तरह की ऐसी ही स्किल, आत्मनिर्भर भारत की भी बहुत बड़ी शक्ति बनेगी.


पांच साल पहले आज ही के दिन कौशल भारत मिशन की शुरुआत की गई थी. कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय द्वारा इस मौके पर एक डिजिटल सम्मेलन का आयोजन किया जा रहा है. कौशल भारत केंद्र सरकार की एक पहल है जो युवाओं को कौशल के साथ सशक्त बनाने के लिए शुरू की गई थी जो उन्हें अपने काम के माहौल में अधिक रोजगारपरक बनाती है.


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