NTAGI Review Vaccination For 5-12 Age Children : कोविड ने पूरी पिछले दो सालों से दुनिया भर के देशों में तबाही मचा रखी है. हालांकि भारत में पिछले साल की तुलना में इस बार कोविड का असर कम दिखाई दे रहा है. इस बीच राष्ट्रीय तकनीकी सलाहकार समूह टीकाकरण (NTAGI) ने भारत में 5 साल से 12 साल के बच्चों को  COVID-19 टीकाकरण के लिए बनाए गए टीकों की समीक्षा करेगा. एनटागी 4  मई को 5 साल से 12 साल की उम्र के बच्चों को कोरोना के टीकों के आंकड़ों की समीक्षा करेगा. इस बात की जानकारी न्यूज एजेंसी एएनआई के सूत्रों ने दी है. बच्चों के लिए बनाए गए कोविड-19 के टीकों के प्रभाव और सुरक्षा का डेटा को चेक करने के बाद दूसरे स्तर की स्थायी तकनीकी उप-समिति (STSC) कार्य समूह द्वारा सिफारिशों पर रिव्यू के बाद चर्चा करेगी. 


इसके बाद स्टैंडिंग टेक्निकल सब कमेटी (STSC)डेटा की समीक्षा करेगी और फिर बच्चों के टीकाकरण पर अपना रिव्यू देगी, जिसके बाद ही एनटागी का समूह कोई अंतिम निर्णय करेगा. आपको बता दें कि अभी हाल में ही भारत के औषधि महानियंत्रक (DCGI) ने 5 से 12 साल की उम्र के बच्चों के लिए टीके की मंजूरी दी है. डीजीसीए ने 5-12 साल के बच्चों के लिए बायोलाजिकल ई के कार्बेवैक्स (Corbevax) और 6 से 12 वर्ष की उम्र के बच्चों के लिए भारत बायोटेक की कोवैक्सीन (Covaxin) को आपातकालीन उपयोग की मंजूरी दी है. वहीं इसके पहले पिछले हफ्ते NTAGI ने भारत में 12 से 17 साल की उम्र के लिए सीरम इंस्टीट्यूट आफ इंडिया के कोरोना वैक्सीन कोवोवैक्स (Covovax) को मंजूरी दी है. 


सरकार की प्राथमिकता है बच्चों का टीकाकरण
आपको बता दें कि देश में कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए और कोरोना से पिछले साल हुई मौतों के मद्देनजर इस बार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जोर देकर कहा है कि बच्चों का टीकाकरण सरकार की सबसे पहली प्राथमिकता होनी चाहिए. पीएम मोदी ने कहा था स्कूलों में बच्चों के टीकाकरण का विशेष अभियान चलाना चाहिए ताकि जल्दी से जल्दी योग्य बच्चों का टीकाकरण हो सके. Covovax को पहले ही डीसीजीआइ द्वारा 12 साल से अधिक उम्र के बच्चों के लिए पहले ही मंजूरी दी जा चुकी है, लेकिन अभी तक इसके लिए प्रशासन से इजाजत नहीं मिली है. 


3 जनवरी से शुरू हुआ नाबालिग बच्चों का टीकाकरण अभियान
भारत में इस साल 3 जनवरी से ही नाबालिग बच्चों का टीकाकरण शुरू हो गया था. भारत बायोटेक की कोवैक्सीन ने देश के 15 से 18 साल की आयु वर्ग के लिए अभियान शुरू हुआ था. इसके बाद 16 मार्च को 12 साल से अधिक उम्र के बच्चों के लिए कार्बेवैक्स को शामिल करने के लिए बाद इस अभियान का विस्तार किया गया. मौजूदा समय भारत में 12 वर्ष से अधिक उम्र के बच्चों के लिए कोरोना के दो टीके लगाए जा रहे हैं. 


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