मध्य प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा (Narottam Mishra) ने खाद्य वितरण कंपनी जोमैटो (Zomato) की 10 मिनट में भोजन पहुंचाने का वादा करने वाली नई सेवा को डिलीवरी करने वाले और सड़क पर चलने वाले लोगों के जीवन को खतरे में डालने वाला करार दिया. मंत्री ने कंपनी से इसमें तुरंत बदलाव करने के लिए कहा है.


मिश्रा ने शुक्रवार को यहां पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि जोमैटो या किसी भी कंपनी को यातायात नियमों का उल्लंघन करने की अनुमति नहीं दी जाएगी. तत्काल डिलीवरी प्रक्रिया के दौरान होने वाले यातायात नियमों के उल्लंघन या हादसों के लिए कंपनी को जिम्मेदार ठहराया जाएगा.


अन्य लोगों के जीवन से खिलवाड़ करने जैसा है 10 मिनट में डिलिवरी


नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि जोमैटो की 10 मिनट में खाना पहुंचाने की सेवा अपने कर्मचारियों (डिलीवरी सहयोगी) के साथ साथ अन्य लोगों के जीवन के साथ खिलवाड़ करने जैसा है. मिश्रा ने कहा, ’’जोमैटो या किसी को भी मध्य प्रदेश में यातायात नियमों का उल्लंघन करने की अनुमति नहीं दी जाएगी. किसी भी हादसे की जिम्मेदारी कंपनी की होगी इसलिए आप कृपा कर ऐसा न करें.’’


गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि कि भोजन देने वाला व्यक्ति शहर की बीच से केवल तेजी और खतरनाक तरीके से गाड़ी चलाकर ही 10 मिनट में चार किलोमीटर के गंतव्य तक पहुंच सकता है. इसलिए यह सेवा लोगों के जीवन के लिए खतरनाक होगी.


जोमैटो ने शुरू की है 10 मिनट डिलिवरी सेवा


जोमैटो की संस्थापक दीपिंदर गोयल ने सोमवार को ट्वीट कर जोमैटो त्वरित सेवा शुरू करने की घोषणा की है. गोयल ने कहा कि 10 मिनट की डिलीवरी सेवा ग्राहकों को चुनिंदा ठिकानों और कुछ खाद्य पदार्थों के लिए उपलब्ध होगी. इसमें देर से डिलीवरी करने के लिए कोई दंड नहीं है और समय पर डिलीवरी के लिए भी कोई प्रोत्साहन नहीं है.


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