जेट एयरवेज के फाउंडर नरेश को गुरुवार (14 सितंबर) को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत के लिए भेज दिया है. प्रवर्तन निदेशालय ने 538 करोड़ रुपये के कथित लोन घोटाला मामले में गोयल को गिरफ्तार किया है. उन पर आरोप है कि नरेश गोयल ने इस रकम का दुरुपयोग किया. ईसीआईआर मामले में सीबीआई की ओर से दर्ज एफआईआर पर ईडी ने यह कार्रवाई की है.


नरेश गोयल की ईडी हिरासत खत्म हो रही है, इसलिए उन्हें आज अदालत में पेश किया गया जहां उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है. केनरा बैंक से 538 करोड़ रुपये की कथित धोखाधड़ी से संबंधित धन शोधन के एक मामले में एक अदालत ने गुरुवार को जेट विमानन कंपनी के संस्थापक नरेश गोयल को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया.


1 सितंबर को हुई थी नरेश गोयल की गिरफ्तारी
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने यहां केंद्रीय एजेंसी के कार्यालय में लंबे वक्त तक चली पूछताछ के बाद गोयल को एक सितबंर को धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत गिरफ्तार किया था. 74 वर्षीय नरेश गोयल को ईडी की रिमांड समाप्त होने के बाद गुरुवार को अदालत के समक्ष पेश किया गया था. जांच एजेंसी की ओर से रिमांड की मांग नहीं किए जाने पर कोर्ट ने गोयल को ज्यूडिशियल कस्टडी में भेज दिया.


538.62 करोड़ रुपये का है मामला
केनरा बैंक से 538 करोड़ रुपये की कथित धोखाधड़ी के मामले के संबंध में दिवालिया हो चुकी निजी विमानन कंपनी के संस्थापक नरेश गोयल, उनकी पत्नी अनीता और कंपनी के कुछ पूर्व अधिकारियों के खिलाफ केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की प्राथमिकी पर धन शोधन का मामला दर्ज किया गया था. बैंक ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया कि उसने जेट एयरवेज (इंडिया) लिमिटेड को 848.86 करोड़ रुपये के कर्ज को मंजूरी दी थी, जिसमें से 538.62 करोड़ रुपये बकाया हैं. बैंक की शिकायत पर सीबीआई ने प्राथमिकी दर्ज की थी.


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