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इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने बुधवार (10 दिसंबर 2025) को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को फोन किया. दोनों नेताओं के बीच भारत-इजरायल रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करने पर चर्चा हुई. पीएम मोदी ने क्षेत्रीय शांति को बनाए रखने भारत के समर्थन की बात को दोहराया. दोनों नेताओं ने आतंकवाद के प्रति अपने जीरो टॉलरेंस के सिद्धांत को दोहराया. वहीं पश्चिम एशिया के हालात पर भी बातचीत हुई.

'हमें पीएम मोदी से समर्थन प्राप्त है'

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इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने सोमवार (8 दिसंबर 2025) को अपने संसद में दिए भाषण में देश के प्रबंधन को लेकर अपनी नीति का बचाव करते हुए कहा कि इस यहूदी राष्ट्र के खिलाफ बढ़ती यहूदी-विरोधी भावनाओं के बावजूद इजरायल को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत दुनिया के कई देशों का समर्थन प्राप्त है. इस दौरान नेतन्याहू ने अपनी सरकार की नीतियों, खासकर इजरायल के विदेश संबंधों का जोरदार तरीके से बचाव किया. उन्होंने कहा, ‘‘आज इजरायल पहले से कहीं अधिक मजबूत है.’’

'दुनिया भर के देश हमने जुड़ना चाहते'

नेतन्याहू ने कहा कि हमास के साथ दो सालों से युद्ध जारी होने के बावजूद इजरायल कूटनीतिक, सैन्य और आर्थिक स्तर पर अब भी मजबूत है. उन्होंने वैश्विक नेताओं के साथ अपने संबंधों को रेखांकित किया. नेतन्याहू ने कहा, ‘‘दुनिया भर के अनेक देश और बहुत से विश्व नेता हमसे जुड़ना चाहते हैं.’’ हालांकि, उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि चुनौतियां भी हैं. उन्होंने कहा, ‘‘हम दुनिया भर में इस यहूदी-विरोध का मुकाबला कर रहे हैं.’’

नेतन्याहू ने कहा कि इसके बावजूद इजरायल की कूटनीतिक स्थिति अब भी मजबूत है. उन्होंने कहा, ‘‘कई महाशक्तियां हमारे साथ आ रही हैं. मैं अपने पुराने मित्र भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अक्सर बात करता हूं. हमने जल्द ही मिलने की योजना बनाई है और मुझे आपको बताना चाहिए कि डेढ़ अरब की आबादी वाला विशाल देश भारत हमारे साथ संबंध और मजबूत करना चाहता है.’’