इंडिगो संकट को लेकर कंपना ने डायरेक्टर जनरल ऑफ सिविल एविएशन (DGCA) के कारण बताओ नोटिस का सोमवार (8 दिसंबर 2025) को जवाब दिया है. नोटिस में इंडिगो से पूछा गया था कि आपके साथ कड़ी कार्रवाई क्यों नहीं की जाए. सरकार पहले ही बोल चुकी है कि इंडिगो के सीईओ, सीओओ जिम्मेदारी अच्छे से नहीं निभाई गई और जवाब से संतुष्ट ना होने पर DGCA कड़ी कारवाई करेगी.

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इंडिगो ने डीजीसीए को भेजा जवाब

IndiGo ने डीजीसीए को दिए जवाब में कहा कि इतनी बड़ी समस्या की असली वजह अभी बताना मुश्किल होगा. इंडिगो ने कहा, "डीजीसीए का नियम पूरी रिपोर्ट को तैयार करने के लिए 15 दिन का समय देता है. पूरी रिपोर्ट तैयार होते ही डीजीसीए को दे दी जाएगी. IndiGo ने यह भी कहा कि वे पहले से DGCA के साथ इन नए FDTL नियमों पर चर्चा कर रहे थे क्योंकि इससे क्रू शेड्यूलिंग में दिक्कत हो रही थी."

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'DGCA के नियमों के हिसाब से किया यात्रियों की मदद'

इंडिगो का दावा है कि उन्होंने यात्रियों को समय पर नोटिफिकेशन भेजे, खाना, होटल और लोकल ट्रांसपोर्ट जैसे प्रावधान DGCA के नियमों के हिसाब से दिए. अधिकतर यात्रियों के रिफंड जल्दी प्रोसेस कर दिए गए. सूत्रों के मुताबिक एविएशन मिनिस्ट्री के अधिकारी और डीजीसीए मंगलवार (9 दिसंबर 2025) सुबह 11 बजे इंडिगो के सीईओ पीटर एल्बर्स से मिलकर पूछताछ करेंगे. इसके बाद एविएशन मिनिस्टर राम मोहन नायडू 9 दिसंबर को 12 बजे लोकसभा में बयान देंगे.

इंडिगो मामले की जांच करेगा ये समीति

संयुक्त महानिदेशक संजय ब्राह्मणे, उप महानिदेशक अमित गुप्ता, वरिष्ठ उड़ान परिचालन निरीक्षक (एफओआई) कपिल मांगलिक और एफओआई लोकेश रामपाल वाली चार सदस्यीय समिति को इंडिगो की उड़ानों के परिचालन में व्यापक व्यवधानों के मूल कारणों का पता लगाने का काम सौंपा गया है. इसके कार्यक्षेत्र में पायलटों के ड्यूटी और आराम नियमों को लागू करने की एयरलाइन की तैयारी, स्टाफ योजना और बदलती रोस्टर प्रणाली की समीक्षा करना है.

IndiGo आज 1800 से ज्यादा विमान संचालित कर रही है. 7 दिसंबर को 1650 उड़ानें चली थीं. 1 से 7 दिसंबर 2025 के बीच फंसे हुए यात्रियों की मदद के लिए Indigo ने 9,500 से ज्यादा होटल कमरे उपलब्ध कराए. करीब 10,000 कैब और बसें बुक कीं. 4,500 से ज्यादा बैग यात्रियों तक पहुंचा दिए हैं.