आर्थिक संकट में घिरे श्रीलंका के साथ भारत एक अच्छे मित्र और पड़ोसी की भूमिका निभा रहा है. ईंधन की कमी दूर करने के लिए बीते दिनों भारत ने 40 हजार मीट्रिक टन डीजल और 36 हजार मीट्रिक टन पेट्रोल क्रेडिट लाइन के तौर पर श्रीलंका तक पहुंचाया है. 


40 हजार मीट्रिक टन डीजल की खेप के साथ श्रीलंका के कोलंबो तट पर मौजूद डीजल कंटेनर मेरापी जहाज के मास्टर मरिनर यानी प्रमुख निशांत मेहता ने बताया कि जामनगर रिफाइनरी से यह खेप लाई गई है. 6 अप्रैल को यह कंटेनर कोलंबो पहुंचा और डीजल की अनलोडिंग की जा रही है. इससे श्रीलंका के बिजली घरों और पेट्रोल पंपों को डीजल मिल पाएगा.


निशांत मेहता ने बताया कि तट पर काम करने वाले श्रीलंका के लोगों ने उनका आभार जताया, श्रीलंका के बड़े क्रिकेट सितारे भी भारत की कोशिशों की सरहाना कर रहे है. कोलंबो में भारतीय उच्चायोग के मुताबिक बीते कुछ दिनों में श्रीलंका को 2 लाख 70 हजार मीट्रिक टन डीजल मुहैया किया गया है. श्रीलंका की अर्थव्यवस्था का पहिया चलता रहे, इसके लिए यह खेप काफी अहम है.


श्रीलंका 70 से अधिक सालो में अपने सबसे खराब आर्थिक संकट से जूझ रहा है. अकेले मार्च महीने में खाद्य कीमतों में रिकॉर्ड 30 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज हुई है. श्रीलंकाई करेंसी LKR (एलकेआर) की वैल्यू डॉलर के मुकाबले आधी हो चुकी है, जिसके चलते जरूरी सामान की कीमतें आसमान छू रही हैं. डीजल-पेट्रोल से लेकर खाने-पीने के सामानों की कीमते पहले के मुकाबले बहुत बढ़ गई हैं. 


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