नई दिल्लीः अफगानिस्तान में तालिबान के नियंत्रण के बाद स्थिति काफी बदतर हो चुकी है. एक ओर जहां विदेशों से मिल रही सहायता पर रोक लगा दी गई है, वहीं ज्यादातर देशों से अपने दूतावास खाली कर दिए हैं तो दूसरी तरफ लोग जान बचाकर वहां से भागने की कोशिश में लगे हैं. 


अफगानिस्तान में दहशत में जी रहे लोग


इस बीच अफगानिस्तान के काबुल से 150 भारतीय स्वदेश लौटे हैं. जिन्हें लेकर भारतीय वायुसेना का सी-17 विमान गुजरात के जामनगर में उतरा. इस दौरान वापस लौटे एक भारतीय नागरिक का कहना है कि अफगानिस्तान में लोगों के बीच तालिबान की काफी दहशत है. उन्होंने बताया कि उनकी बेटी को तेज बुखार हो गया था. रात 8 बजे से सुबह 6 बजे काबुल में कर्फ्यू था. यह उनके लिए बहुत मुश्किल था क्योंकि उन्हें नहीं पता था कि बाहर क्या हो रहा है. वह सबसे पहले भारतीय दूतावास और फिर हवाई अड्डे पहुंचे थे. 






भारतीय वायुसेना को दिया धन्यवाद


उनका कहना है कि 'आखिरकार काबुल से निकलने में हमें लगभग 12 घंटे लगे. हम दूतावास और भारत सरकार के आभारी हैं. मैं विशेष रूप से भारतीय वायुसेना को समय पर हमें निकालने के लिए धन्यवाद देना चाहता हूं. वहां अभी भी बहुत से भारतीय हैं जिन्हें मदद की आवश्यकता है. मैं सरकार से उन्हें निकालने का आग्रह करता हूं.'






अफगानिस्तान छोड़ना चाहते हैं बड़ी तादाद में लोग


व्यक्ति का कहना है कि अफगानिस्तान में तालिबान के आतंक के बाद बुजुर्गों, महिलाओं और बच्चों सहित हजारों लोग काबुल हवाई अड्डे पर हैं जो शहर छोड़ने का इंतजार कर रहे हैं. उनका कहना है कि उन्होंने गोलियों की आवाजें सुनी जो काफी भयानक और दिल दहला देने वाली थी.






बता दें कि वायुसेना का सी-17 विमान मंगलवार सुबह 11 बजकर 15 मिनट पर जामनगर स्थित एयरपोर्ट पर उतरा. विमान से यहां पहुंचे लेागों में काबुल स्थित भारतीय दूतावास के अधिकारी और सुरक्षा कर्मी शामिल हैं. इससे पहले भारतीय वायुसेना का सी-19 विमान सोमवार को अफगानिस्तान से कुछ कर्मियों को लेकर भारत लौटा था. हालांकि काबुल में अभी भी कई भारतीय फंसे हुए हैं. 


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