Judges Transfer Across HC: केंद्र सरकार ने कॉलेजियम की सिफारिश को मंजूरी देते हुए देश के 16 हाई कोर्ट के जजों का तबादला कर दिया है, जबकि 17 नए जजों की नियुक्ति हुई है. सुप्रीम कोर्ट की कॉलेजिएम की सिफारिश पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की मंजूरी के बाद विधि और न्याय मंत्रालय ने नए जजों की नियुक्ति और तबादले से संबंधित नोटिफिकेशन जारी किया है.


तबादला किए गए जजों में मणिपुर के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश जस्टिस एमवी मुरलीधरन भी शामिल हैं. उन्हें कलकत्ता हाई कोर्ट में तबादला कर दिया गया है. कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पहले ट्विटर) पर पोस्ट कर तबादले और नई नियुक्तियों की जानकारी दी है.


किस हाई कोर्ट में भेजे गए कौन से न्यायाधीश


तबादले के नोटिफिकेशन के मुताबिक इलाहाबाद हाई कोर्ट के जस्टिस एसपी केसरवानी को कलकत्ता हाई कोर्ट और जस्टिस राजेंद्र कुमार को मध्य प्रदेश हाई कोर्ट भेजा गया है. गुवाहाटी हाई कोर्ट से न्यायाधीश ननी तागिया को पटना हाईकोर्ट भेजा गया है. पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट से न्यायाधीश राजमोहन सिंह को मध्य प्रदेश हाईकोर्ट, न्यायाधीश अरविंद सिंह सांगवान को इलाहाबाद हाईकोर्ट और न्यायाधीश अवनीश झिंगन और न्यायाधीश अरुण मोंगा को राजस्थान हाईकोर्ट भेजा गया है.





आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट से जस्टिस सी मानवेंद्र नाथ रॉय को गुजरात हाईकोर्ट और अतिरिक्त जज जस्टिस दुप्पला वेंकट रामन को मध्य प्रदेश हाईकोर्ट, जबकि कलकत्ता हाईकोर्ट में अतिरिक्त जज जस्टिस लपिता बनर्जी को पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट भेजा गया है. वहीं, तेलंगाना हाईकोर्ट से जस्टिस मुन्नुरी लक्ष्मण को राजस्थान और जस्टिस जी अनुपमा चक्रवर्ती को पटना हाईकोर्ट भेजा गया है. 


कर्नाटक हाईकोर्ट से जस्टिस नरेंद्र जी को आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट भेजा गया है, जबकि पटना हाईकोर्ट से जस्टिस सुधीर सिंह को पंजाब-हरियाणा और जस्टिस मधुरेश प्रसाद को कलकत्ता हाईकोर्ट भेजा गया है. उधर, मणिपुर हाईकोर्ट से जस्टिस एमवी मुरलीधरन को कलकत्ता हाईकोर्ट में ट्रांसफर किया गया है.


जस्टिस एमवी मुरलीधरन का अनुरोध अस्वीकार 
दिल्ली हाईकोर्ट के जज जस्टिस सिद्धार्थ मृदुल को मणिपुर हाईकोर्ट का मुख्य न्यायाधीश बनाने के दो दिन बाद जस्टिस मुरलीधरन का स्थानांतरण कर दिया गया. सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने न्याय के बेहतर प्रशासन के लिए हाल ही में जस्टिस मुरलीधरन को मणिपुर हाईकोर्ट से कलकत्ता हाईकोर्ट में स्थानांतरण करने की सिफारिश की थी. इस पर मुहर लगा दी गई है।


मार्च में न्यायाधीश मुरलीधरन के मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजातियों की सूची में शामिल करने पर विचार करने का आदेश देने के बाद मणिपुर में जातीय हिंसा फैल गई थी. जस्टिस मुरलीधरन ने कॉलेजियम से अनुरोध किया था कि उन्हें अपने मूल हाईकोर्ट मद्रास भेज दिया जाए. यदि ऐसा मुमकिन न हो तो उन्हें कलकत्ता भेजने की जगह मणिपुर हाईकोर्ट में ही कार्य करने दिया जाए. हालांकि  उनके अनुरोध को नजरअंदाज करते हुए कॉलेजियम ने उन्हें कलकत्ता हाईकोर्ट भेजने की सिफारिश की, जिसे मंजूरी मिल गई है.


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