नई दिल्ली: केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने एबीपी न्यूज़ से खास बातचीत में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधा. उन्होंने सवाल किया कि चुनाव के वक्त ही ममता बनर्जी को गोत्र की याद क्यों आई? वहीं एआईएमआईएम अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी के बयान पर उन्होंने कहा कि वे हिंदुओं का अपमान बंद करें.


एक रैली में ममता बनर्जी ने अपने गोत्र का जिक्र करते हुए बताया कि उनका गोत्र शांडिल्य है. इस पर गिरिराज सिंह ने कहा कि ममता बनर्जी आपने कुछ बताने में देर कर दी. ये अच्छा लग रहा है कि दीदी समगोत्री हैं लेकिन बंगाल के रहने वाले शांडिल्य गोत्र के लोग जो दुर्गा पूजा और मूर्ति विसर्जन के लिए लाठी खा रहे थे तब उनको गोत्र नहीं याद आया. जब दुर्गा पूजा और मूर्ति विसर्जन के लिए ये कोर्ट जा रहे थे उस दिन आपको गोत्र याद नहीं आया?


सवाल- गोत्र अगर शांडिल्य है तो उससे मूर्ति विसर्जन का क्या लेना देना, बहुत सारे लोग हैं जो आडंबर में भरोसा नहीं करते?


जवाब- आडंबर की बात नहीं है. यह तुष्टीकरण की राजनीति है. पहले चंडी पाठ करती नहीं थीं, अब चंडी पाठ करने लगी हैं. गोत्र बता रही है. उससे पहले कलमा पढ़ती थीं. हमें कोई आपत्ति नहीं है. हमारे नेताओं को ना चंडी पाठ पढ़ने की जरूरत है ना कलमा पढ़ने की जरूरत है. हम तो सबका साथ सबका विकास में भरोसा करते हैं. लेकिन दीदी को प्रथम चरण का चुनाव खत्म होते-होते उनकी जमीन खिसकती दिखी इसलिए अब गोत्र याद आ रहा है.


सवाल- क्या गोत्र बताने से वोट मिलता है, जब आपने अपना गोत्र बताया था तो क्या आप को वोट बढ़कर मिला था?


जवाब- तुष्टिकरण की राजनीति है. हमें तो कभी शर्म नहीं आई कि मैं शांडिल्य गोत्र हूं. मैं हिंदू हूं. मुझे तो कभी तकलीफ नहीं हुई. होनी भी नहीं चाहिए किसी को. लेकिन हिंदू और मुसलमान कोई पूछ कर तो आते नहीं है. लेकिन तुष्टिकरण की राजनीति करने वाले लोगों को यह तकलीफ होती है.


सवाल- आपने जब ट्वीट किया तो उसमें रोहिंग्या गोत्र का भी जिक्र किया. टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा ने ट्वीट करके आपको जवाब दिया है कि रोहिंग्या गोत्र ज्यादा बेहतर है बजाय चुटिया धारी राक्षस वंश से?


जवाब -मैंने तो कुछ नहीं कहा. मुझे तो खुशी है कि दीदी मेरी सम गोत्री हैं. मैं तो सवाल पूछ रहा हूं कि पहले आपने रेड कारपेट रोहिंग्या के लिए घुसपैठियों के लिए क्यों भेजा है और बड़ी-बड़ी बातें कहीं कि मेरे रहते कोई सीएए लागू नहीं कर सकता. वहां मतुवा समुदाय को ठगने का काम करती रहें. यह हमने नहीं किया. यह दीदी ने किया है. अब मेरा गोत्र और दीदी का गोत्र एक निकल गया. मैंने तो बाद में गोत्र नहीं लगाया. मैं तो वर्षों से शांडिल्य गोत्र लगा रहा हूं. मेरा गोत्र और दीदी का गोत्र एक ही है. जो मैं हूं वह दीदी हैं, जो दीदी हैं वो मैं हूं. महुआ मोइत्र इस बात को समझ लें.


सवाल- असदुद्दीन ओवैसी की भी इस बीच एंट्री हो गई है. उन्होंने ट्वीट करके कहा है कि हर नेता अपने आप को हिंदू साबित करने की कोशिश कर रहा है. जो नेता अपने आप को हिंदू साबित करने की कोशिश कर रहे हैं, यह बड़ा ही अपमानजनक है. क्या अपने आप को हिंदू साबित करना अपमानजनक है?


जवाब- मुझे असदुद्दीन ओवैसी के इस बयान पर गहरी आपत्ति है. क्या देश में हिंदू होना कोई गुनाह है? उनके पास तो जिन्ना का मंत्र है. वह तो जिन्ना का मंत्र लेकर देश में घूम-घूम कर उसे फैला रहे हैं.


सवाल- लेकिन जिंन्ना का मंत्र कैसे ले रहे हैं?


जवाब- पूरा देश देख रहा है. उनका जो बयान आता है, उनका बयान क्या आता है?


सवाल- उन्होंने (ओवैसी) तो कभी पार्टीशन की बात नहीं की, जिन्ना तो विभाजन की बात करते थे?


जवाब- जिन्ना का मंत्र ही हर जगह कान में फूंकते हैं और वह हिंदुओं को गाली देना बंद करें. ओवैसी साहब को कहता हूं कि वो हिंदुओं को गाली देना बंद करें.


सवाल -ममता बनर्जी न केवल अपना गोत्र बता रही हैं बल्कि यह भी कह रही हैं कि पश्चिम बंगाल में बाहरी लोग आ गए हैं. यूपी और बिहार के गुंडे आ गए हैं जो यहां का माहौल खराब कर रहे हैं?


जवाब-पश्चिम बंगाल के लोग उनके आतंक से परेशान हैं. सैकड़ों लोग मारे गए. अभी-अभी मेरे कार्यकर्ता की मां शोभा की मौत हो गई. उनको टीएमसी के गुंडों ने पीटा. भगवान ना करें उनका पैर टूटा है, किसी का प्यार न टूटे.


सवाल- आपके पैर में क्या हो गया है, आपके पैर में भी प्लास्टर लगा हुआ है?


जवाब- सम गोत्री हूं तो शायद कुछ असर पड़ गया है दीदी का. मेरे पैर में चोट लग गई है. लेकिन शोभा दीदी की हत्या किसने की? गली-गली आतंक किसका है? इसी आतंक के खिलाफ बंगाल की जनता ने आवाज उठाई है. इसीलिए उनको गोत्र समझ में आ रहा है.


सवाल -इससे पहले कई नेता गोत्र का इस्तेमाल कर चुके हैं. राहुल गांधी ने गुजरात में गोत्र का इस्तेमाल किया. क्या गोत्र जाहिर करने से वोट बैंक पर असर पड़ता है?


जवाब- यह उन लोगों के लिए होता है जिन्हें अपने आप पर भरोसा नहीं होता है. तुष्टिकरण की राजनीति करने वालीं ममता बनर्जी को मय सता रहा है. लेकिन मुझे खुशी है कि इसी भय में मैं तो जान गया कि मेरी बहन संग उतरी है.


सवाल- महुआ मोइत्रा ने आपके लिए जो शब्दों का इस्तेमाल किया है क्या आप इसकी शिकायत चुनाव आयोग से करेंगे. आपके लिए 'चोटी वाला राक्षस' शब्द बोला, आप खुद चोटी रखते हैं?


जवाब- कोई मुझे राक्षस कहे या कुछ और कहे. जो मैं हूं, वह दीदी हैं. जो दीदी हैं, वही मैं हूं. इससे ज्यादा मैं कुछ नहीं कहूंगा.


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