National Conference All Party Meeting: जम्मू और कश्मीर में संशोधित मतदाता सूची में ‘गैर-स्थानीय मतदाताओं को शामिल करने’ के मुद्दे पर नेशनल कॉन्फ्रेंस द्वारा बुलाई गई सर्वदलीय बैठक शुरू हो चुकी है. सज्जाद लोन की जम्मू कश्मीर पीपुल्स कांफ्रेंस और अल्ताफ बुखारी की नेतृत्व वाली ‘अपनी पार्टी’ ने इस बैठक से दूरी बना ली है. नेशनल कांफ्रेंस की इस बैठक के खिलाफ जवाबी रणनीति तैयार करने के लिए बीजेपी ने भी एक बैठक शुरू कर दी है. इस बैठक में मुख्यधारा से जुड़े नेताओं के साथ पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती भी मौजूद हैं. जबकि जम्मू-कश्मीर प्रशासन इस मुद्दे पर शनिवार को सफाई दे चुका है. प्रशासन का कहना था कि निहित स्वार्थ के चलते खबरों को तोड़-मरोड़कर पेश किया गया. सूचना विभाग इस संबंध में अखबार में भी विज्ञापन प्रकाशित करा चुका है.


नेशनल कांफ्रेंस अध्यक्ष फारूख अब्दुलला के आवास पर शुरू हुई बैठक में पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (PDP) की प्रमुख महबूबा मुफ्ती, कांग्रेस जम्मू-कश्मीर इकाई के अध्यक्ष विकार रसूल, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) के नेता एमवाई तारिगामी और शिवसेना के नेताओं ने हिस्सा लिया है. जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने शनिवार को सफाई देते हुए कहा था कि 25 लाख नए मतदाता शामिल करने वाली खबर में तथ्यों को तोड़ मरोड़ कर पेश किया गया है. यह नए मतदाता वह हैं, जो 18 वर्ष से ऊपर की आयु पूरी कर चुके हैं. बैठक में नेशनल कांफ्रेंस और पीडीपी राजनैतिक पार्टियों ने दावा किया है कि प्रशासन ने अभी तक उनकी मुख्य चिंता का समाधान नहीं किया है. उनका कहना है कि क्या जम्मू-कश्मीर में बाहरी लोग मतदान कर सकेंगे. निर्वाचन आयोग को इसका जवाब देना चाहिए. शनिवार को दिये गए स्पष्टीकरण से संतुष्ट न होने पर ही बैठक आयोजित की गई है. बैठक में प्रमुख राजनेताओं ने आरोप लगाया है कि गैर स्थानीय लोगों को मतदान में शामिल करना जम्मू कश्मीर के लोगों को मताधिकारी से वंचित करने की एक स्पष्ट चाल है.


पीपुल्स पार्टी के चेयरमैन ने बैठक पर ये कहा


सज्जाद लोन ने पत्रकारों से कहा कि बैठक केवल चर्चा में बने रहने तक सीमित लग रही है. वह इसका हिस्सा नहीं बनना चाहते हैं. उन्होंने कहा, ‘महबूबा मुफ्ती के अनुसार सर्वदलीय बैठक बुलाई गई, जबकि कोई और इसके लिए फोन कर रहा है. हम कब तक सब कुछ ठीक होने का दिखावा कर सकते हैं. क्योंकि मैंने कल ही उनकी आलोचना की है. उससे एक दिन पहले उन्होंने मेरी आलोचना की है. महबूबा मुफ्ती अपना खोया हुआ राजनीतिक कद वापस पाना चाहती हैं. सर्वदलीय बैठक का फरमान जारी करती हैं. महाराजा हरि सिंह का युग बीते हुए काफी समय हो गया है.’ यहां उन्होंने यह भी साफ किया कि अगर कोई ठोस निर्णय निकलता है तो उनकी पार्टी इस गैर स्थानीय मतदाताओं के मुद्दे से निपटने के लिए पूरे दिल से समर्थन करेगी.


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