नई दिल्ली: सशस्त्र सेनाओं और डीआरडीओ के बाद अब देश के डिफेंस पीएसयू भी कोरोना के खिलाफ जंग में जुट गए हैं. हिंदुस्तान एयरोनोटिक्स लिमिटेड यानि एचएएल से लेकर ऑर्डिनेंस फैक्ट्री बोर्ड तक देश के अलग-अलग हिस्सों में कोविड अस्पताल बनाने में जुट गए हैं. वहीं दूसरे डिफेंस पीएसयू देश में ऑक्सीजन की किल्लत से उबरने के लिए राज्य सरकारों की मदद कर रहे हैं.


रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, हिंदुस्तान एयरोनोटिक्स लिमिटेड (एचएएल) ने बेंगलुरू में एक 250 बेड का कोविड केयर सेंटर शुरू कर दिया है और जबकि एक दूसरा 250 बेड का सेंटर कोरपोरेट सोशल रेस्पोंसेबिलेटी (सीएसआर) के तहत तैयार करके बेंगलुरू म्युनिसिपल कोरपोरेशन के हवाले कर दिया है.


एलसीए तेजस से लेकर सुखोई फाइटर जेट्स और एएलएच-ध्रुव से लेकर चीता-चेतक हेलीकॉप्टपर बनाने वाली एचएएल ने देशभर में फैले अपने प्लांट्स और डिवीजन में कुछ दिनों के लिए छुट्टी घोषित कर दी है और कोरोना के खिलाफ जंग शुरू कर दी है. रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, एचएएल ने ओडिशा के कोरापुट में एक 70 बेड का हॉस्पिटल तैयार किया है तो महाराष्ट्र के नासिक में भी 40 बेड का हॉस्पिटल तैयार किया है. लखनऊ में भी एचएएल एक कोविड केयर फैसेलिटी तैयार कर रही है जो मई के शुरुआती हफ्ते में बनकर तैयार हो जाएगी.


एचएएल के अलावा ऑर्डिनेंस फैक्ट्री बोर्ड (ओएफबी) ने महाराष्ट्र, तमिलनाडु, तेलंगाना, ओडिशा और उत्तराखंड में 25 कोविड केयर फैसेलिटी तैयार की है, जिनमें ऑक्सीजन की सुविधा भी है. ओएफबी, देश की सेनाओं के लिए, गोला-बारूद से लेकर टैंक और तोप तक तैयार करती है. रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, ओएफबी ने अपने 60 प्रतिशत वर्क-फोर्स को कोविड-केयर में लगा दिया है. इसके अलावा कुल 1405 बेड्स में से 813 बेड कोविड मरीजों के लिए रिजर्व कर दिए हैं.


रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, डिफेंस पीएसयू भी फास्ट-ट्रैक प्रक्रिया के तहत ऑक्सीजन प्लांट खरीदने में जुटी हैं ताकि कोरपोरेट सोशल रेसपोंसेबेलिटी के तहत स्थानीय अस्पतालों में इन प्लांटस को लगाकर कोविड के मरीजों के लिए ऑक्सीजन सप्लाई की जा सके. इन डिफेंस पीएसयू नें बीडीएल, बीईएमएल, एचएल, मिधानी, जीआरएसई और मझगांव डॉकयार्ड लिमिटेड (एमडीएल) शामिल हैं.