Coronavirus pandemic : दक्षिण अफ्रीका (South Africa) में मिले कोरोना (COVID 19) के नए वेरिएंट से पूरी दुनिया में दहशत है. इसे बहुत खतरनाक बताया जा रहा है. कई और देशों में भी इस वेरिएंट के मरीज मिले हैं. विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने शुक्रवार को इस मुद्दे पर एक मीटिंग की. इसमें संगठन के टेक्निकल एडवाइजरी ग्रुप ऑन वायरस एवोल्यूशन (TAG-VE) की टीम भी शामिल हुई. 



मीटिंग के बाद डब्ल्यूएचओ के प्रवक्ता ने बताया कि अभी शुरुआती अध्ययन से पता चला है कि नया वेरिएंट बहुत अधिक संख्या में म्यूटेंट हुआ है और अधिक जानकारी के लिए अभी अध्ययन होना बाकी है. नया वेरिएंट कितना प्रभावित कर सकता है, हमें अभी समझने में कुछ सप्ताह और लगेंगे. शोधकर्ता इसे और समझने के लिए काम में लगे हैं.

एम्स (AIIMS) के सेंटर फॉर कम्यूनिटी मेडिसिन के डॉ. संजय राय ने ने कहा कि यह एक नया वेरिएंट है. हम इसकी संक्रामकता की पूरी स्थिति को नहीं जानते हैं. लेकिन, आशंका है कि वैक्सीन या प्राकृतिक दोनों तरह से बनी इम्यूनिटी को भेदकर संक्रमित कर सकता है. इसे नजरअंदाज किया गया तो यह गंभीर मसला हो सकता है. कोरोना के इस नए वेरिएंट को लेकर देश में भी अलर्ट जारी किया गया है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने खतरे वाले देशों की यात्रा कर रहे लोगों की ठीक से जांच और स्क्रीनिंग के निर्देश दिए हैं. जिन विदेश की यात्रा को शुरु किया जाना था, उन्हें रोक दिया गया है. 


दक्षिण अफ्रीका में मिला कोरोना का नया वेरिएंट B.1.1.529 है. दक्षिण अफ्रीका के साथ ही बोत्सवाना और हॉन्गकॉन्ग में भी इसके मरीज मिले हैं. वैज्ञानिकों ने इसे बेहद घातक बताया है. यह तेजी से म्यूटेंट हुआ है. विशेषज्ञों का कहना है कि शरीर के इम्यून सिस्टम को भेदकर संक्रमित करने की इसमें शक्ति है. वैज्ञानिक वायरस के इस रूप को बेहद संक्रामक बता रहे हैं.


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