द डाईरेक्टर जनरल ऑफ़ सिविल एविएशन (डीजीसीए) ने पायलट, क्रू मेम्बर और फ़्लाइट आपरेशन से जुड़े सभी स्टाफ़ के लिए ब्रेथ एनालाईज़र (बीए) टेस्ट एक बार फिर से अनिवार्य कर दिया है. जल्द ही इसे लागू किया जाएगा.


दिल्ली हाई कोर्ट ने एक आदेश में डीजीसीए को फ़्लाइट आपरेशन से सम्बंधित सभी प्रोटोकॉल का पालन करने के लिए गाइडलाइन जारी करने का निर्देश दिया था जिसके अंतर्गत बीए टेस्ट भी एक अनिवार्य प्रोटोकॉल है.


नशीले पदार्थों के सेवन को रोकने के लिए किया जाता है बीए टेस्ट


ब्रेथ एनालाईज़र टेस्ट एक अनिवार्य टेस्ट है जिसे मार्च 2020 से कोविड महामारी के दौरान रोक दिया गया था. इसमें प्रत्येक फ़्लाइट आपरेशन से ठीक पहले पायलट सहित सभी क्रू मेम्बर को फूंक कर अपनी सांस का टेस्ट करवाना पड़ता है ताकि ये तय हो सके कि किसी स्टाफ़ ने किसी नशीले पदार्थ का सेवन नहीं किया है.


सभी एयरलाइंस से ली जा रही है राय


कोविड प्रकोप के दौरान एयर इंडिया पायलट यूनियन और कई अन्य एयरलाइंस ने डीजीसीए को पत्र लिख कर बीए टेस्ट को बंद करने की अपील की थी जिसके बाद ही इसे बंद किया गया था. डीजीसीए ने एक रिपोर्ट तैयार करने का आदेश दिया है जिसमें सभी स्टेक होल्डर से बीए टेस्ट दोबारा अनिवार्य करने के सम्बंध में राय भी ली जाएगी.


फ़िलहाल रैंडम टेस्ट में 6% पायलट का ही हो रहा है बीए टेस्ट


डीजीसीए के अनुसार फ़िलहाल अभी एयरपोर्ट पर रैंडम बीए टेस्ट किया जा रहा है. इस समय रोज़ाना अधिकतम 5% पायलट का बीए टेस्ट किया जा रहा है. एक समय में अधिकतम 6 स्टाफ़ का ही बीए टेस्ट किया जा रहा है. एविएशन कंट्रोलर डीजीसीए एयर ट्रैफ़िक कंट्रोलर (एटीसी) का भी रैंडम बीए टेस्ट कर रहा है.


दिल्ली हाई कोर्ट का आदेश


हाल ही में दिल्ली हाईकोर्ट ने एक आदेश में डीजीसीए से फ़्लाइट आपरेशन के लिए ज़रूरी सभी प्रोटोकॉल का पालन करने के लिए गाइडलाईन जारी करने के लिए कहा था. दिल्ली ट्रैफ़िक ने भी बीए टेस्ट को शुरू कर दिया है.


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