शहर के भीतर इन दिनों स्पीड ब्रेकर आपको गली-गली में मिल जाएंगे. कई बार ये इतने ऊंचे होते हैं कि अगर आपने अपनी गाड़ी की स्पीड कम नहीं की तो आप दुर्घटना के शिकार हो सकते हैं. इसके अलावा आजकल आपको गलियों के अंदर थोड़ी-थोड़ी दूर पर ही स्पीड ब्रेकर देखने को मिलते हैं. अब सवाल उठता है कि आखिर इतने ऊंचे और इतने नज़दीक कई स्पीड ब्रेकर बनाने का अधिकार सड़क निर्माणकर्ताओं को कौन देता है? इसके साथ ही जानेंगे कि आखिर स्पीड ब्रेकर से जुड़ा कानून क्या कहता है.


दुर्घटनाओं का कारण बनते स्पीड ब्रेकर


सामान्यत: स्पीड ब्रेकर इसलिए बनाए जाते हैं कि इंसान तेज रफ्तार गाड़ियों से होने वाली दुर्घटनाओं से बच सके. हालांकि, आजकल उल्टा ही हो रहा है. लगभग 9 इंच कई जगह उससे भी ऊंचे बने स्पीड ब्रेकर खुद दुर्घटनाओं का कारण बन रहे हैं. खासतौर से गर्भवती महिलाएं और बुजुर्गों को इससे सबसे ज्यादा दिक्कत हो रही है. दरअसल, ये इतने ऊंचे होते हैं कि अगर तेज़ रफ्तार गाड़ी इन पर से गुजरे तो गाड़ी में बैठे लोगों को जबरदस्त झटके लगते हैं.


स्पीड ब्रेकर के लिए कौन देता है परमिशन


स्पीड ब्रेकर आप अपने हिसाब से और अपने मन से नहीं बनवा सकते हैं. स्पीड ब्रेकर बनवाने के लिए लोग और ट्रैफिक पुलिस को जरूरत के हिसाब से नगरीय निकाय से इसकी मांग करनी होती है. नगरीय निकाय के अधिकारी जांच के बाद परमिशन देते हैं कि कहां स्पीड ब्रेकर बनाना है.


कितने ऊंचे बनाए जाते हैं ब्रेकर?


स्पीड ब्रेकर बनाने के कुछ नियम हैं. इनमें ऊंचाई को लेकर कहा गया है कि स्पीड ब्रेकर की ऊंचाई 10 सेंटीमीटर होनी चाहिए. वहीं इसकी लंबाई 3.5 मीटर और वृत्ताकार रेडियस 17 सेंटीमीटर होती है. स्पीड ब्रेकर बनाने का मक्सद होता है वाहनों की स्पीड 20 से 25 किलोमीटर कम कर देना. वहीं स्पीड ब्रेकर बनाने के बाद उन पर थर्मो प्लास्टिक पेंट से पट्टियां बनाना आवश्यक है.


दरअसल, ऐसा इसलिए किया जाता है ताकि वाहन चालकों को स्पीड ब्रेकर रात के अंधेरे में भी दिख सके. इसके अलावा स्पीड ब्रेकर से 40 मीटर पहले एक चेतावनी वाला बोर्ड भी लगा होना चाहिए. अगर ये सब चीजें स्पीड ब्रेकर के साथ नहीं हैं तो यह गैरकानूनी माना जाएगा और संबंधित लोगों पर कार्रवाई हो सकती है.


ये भी पढ़ें: Arvind Kejriwal Bail: अरविंद केजरीवाल को मिली अंतरिम जमानत, जानिए ये रेगुलर बेल से कितनी अलग?