आज के वक्त अधिकांश यात्री फ्लाइट से सफर करना पसंद करते हैं. क्योंकि इससे समय का बचत होता है. लेकिन बीते कुछ सालों से फ्लाइट क्रैश और फ्लाइट को धमकी मिलने की घटनाएं भी बढ़ी हैं. बीते रविवार को ही अमेरिका के न्यूयॉर्क सिटी से दिल्ली आने वाली अमेरिकन एयरलाइंस की फ्लाइट को बम होने की सूचना के बाद डायवर्ट किया गया है. आज हम आपको बताएंगे कि बम की धमकी के बाद किसी भी फ्लाइट को डायवर्ट क्यों किया जाता है. 

क्या है मामला?

बता दें कि अमेरिकन एयरलाइंस के प्रवक्ता के मुताबिक अमेरिका के  न्यूयॉर्क सिटी से नई दिल्ली के लिए अमेरिकन एयरलाइंस की फ्लाइट AA292 ने उड़ान भरी थी. इसके बाद इस फ्लाइट में बम होने की सूचना मिली थी. ये सूचना मिलते ही फ्लाइट को रोम की ओर डायवर्ट कर दिया गया था. हालांकि रोम में जांच के दौरान इस फ्लाइट में किसी तरह का कोई बम नहीं मिला है. 

इंटरनेशनल सिविल एविएशन अलर्ट

बता दें कि फ्लाइट को मिली धमकी के बाद इंटरनेशनल सिविल एविएशन ऑर्गनाइजेशन अलर्ट मोड पर था. इतना ही नहीं इस दौरान आस-पास के फ्लाइट रूट को भी अलर्ट पर रखा गया था. वहीं जैसे फ्लाइट रोम के फिमिसिनो एयरपोर्ट पहुंचा है, उसके बाद यात्रियों को फ्लाइट से निकालकर फ्लाइट की तलाशी ली गई है. जांच में ये पाया गया है कि फ्लाइट में कोई बम नहीं था और ये सूचना गलत थी.

क्यों डायवर्ट किया जाता है फ्लाइट ?

आपने कई बार खबरों में भी सुना होगा कि बम की सूचना मिलने के बाद फ्लाइट की उड़ान रूक जाती है या आसमान में फ्लाइट होने पर उसे नजदीकी एयरपोर्ट पर डायवर्ट कर दिया जाता है. क्या आप इसके पीछे की वजह जानते हैं? एक्सपर्ट के मुताबिक जब किसी फ्लाइट को पर्ची या फोन कॉल के जरिए बम होने की धमकी मिलती है, उसके बाद एयरलाइंस और इंटरनेशनल सिविल एविएशन ऑर्गनाइजेशन की पहली जिम्मेदारी होती है कि यात्रियों को सुरक्षित रखना है.

 वहीं फ्लाइट को उस समय हमेशा कम ट्रैफिक वाले एयरपोर्ट की तरफ डायवर्ट किया जाता है. जैसे धमकी मिलने के बाद अगर नई दिल्ली एयरपोर्ट सबसे नजदीक है, तो भी वहां फ्लाइट को जल्दी डायवर्ट नहीं किया जाएगा. क्योंकि नई दिल्ली सबसे व्यस्त एयरपोर्ट में एक है. फ्लाइट को हमेशा किसी शांत और संभव है तो समुद्री इलाकों की तरफ मौजूद एयरपोर्ट पर डायवर्ट किया जाता है. इसके पीछे का कारण यात्रियों को सुरक्षित रखना, जहाज को सुरक्षित रखना है. वहीं अगर कोई घटना घटती है, तो उससे बाकी अन्य लोग सुरक्षित रहे और कोई भगदड़ ना मचे, इसलिए ऐसा किया जाता है. 

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