ISRO launch: भारत क्रिसमस से एक दिन पहले इतिहास रचने जा रहा है. भारत का सबसे शक्तिशाली LVM3 रॉकेट 24 दिसंबर को उड़ान भरने जा रहा है. इसे बाहुबली भी कहा जाता है. यह इसरो का सबसे बड़ा और अहम मिशन है. इसके लॉन्च से मोबाइल कनेक्टिविटी की दुनिया में काफी बड़ा चेंज आएगा. इस सैटेलाइट की मदद से सीधे स्पेस से स्मार्टफोन को नेटवर्क मिलेगा. ऐसे में यह देश के लिए काफी बड़ा और गर्व महसूस कराने वाला मूमेंट है.
कब होगा लॉन्च?
यह लॉन्च क्रिसमस की सुबह में 8.54 बजे श्री हरिकोटा सतीश धवन स्पेस सेंटर से होगा. इसका सफल रिकार्ड 100% होने के कारण ही अमेरिकी कंपनी ने इसपर भरोसा जताया है. इस लॉन्च के जरिए भारत ग्लोबल स्पेस मार्केट में अपनी पहचान को और मजबूत करेगा. कंपनी 2026 में पांच और ऑर्बिटल लॉन्च की योजना को बना रही है लेकिन वह स्पेसएक्स के रॉकेट से होने की संभावना है और इसकी जिम्मेदारी भारत को दी गई है. रॉकेट अमेरिका की कंपनी एएसटी स्पेसमोबाइल के 6.5 टन वजन के ब्लू बर्ड 6 सेटेलाइट को लेकर हरिकोट के सतीश धवन स्पेस सेंटर से 24 तारीख को उड़ान भरने जा रहा है.
क्या खासियत है इस सैटेलाइट और रॉंकेट की?
- यह सैटेलाइट अपनी कक्षा में पहुंचने के बाद एक विशाल एंटीना को खोलेगा.
- इसका आकार 2400 स्कवायर फीट जितना है. अब इसका अंदाजा आप लगा सकते हैं कि यह कितने बड़े आकार का है.
- यह कंपनी के पुराने सैटेलाइट से तीन गुना से भी ज्यादा बड़ा है.
- कंपनी का कहना है कि इसकी डेटा की कैपेसिटी 10 गुना से भी ज्यादा है.
- यह आम लोगों के स्मार्टफोन से कनेक्ट होएगा, सीधे शब्दों में आपको बिना किसी टावर के नेटवर्क मिल सकेगा., जोकि स्मार्टफोन के दुनिया में काफी बड़ा चेज लाएगा.
- एएसटी स्पेसमोबाइल का ब्लूबर्ड 6 सेटेलाइट 6.5 टन है. यह LVM3 द्वारा लो अर्थ आर्बिट में स्थापित किए जाने वाला सबसे भारी सेटेलाइट में से एक है.
- इसके अलावा रॉकेट का खुद का वजन 642 है और यह 43.5 मीटर लंबा है. इसको भारी सेटेलाइट को अंतरिक्ष में ले जाने के लिए बनाया गया है.
- इस सैटेलाइट को ऑर्बिट में पहुंचाने से इसरो के लिए कई लॉन्च कतार में होंगे.
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