'क्योंकि सास भी कभी बहू थी 2' एक बार फिर से टीवी पर छा गया है. टीआरपी लिस्ट में भी काफी वक्त से नंबर 2 के पोजिशन पर बना हुआ है.ओरिजनल कास्ट की वापसी से दर्शकों की पुरानी यादें ताजा हो चुकी हैं. इसी बीच मिहिर का कैरेक्टर प्ले करने वाले अमर उपाध्याय ने अपने उस इमोशनल फीलिंग के बारे में बात की है जो उन्होंने शो के सबसे बड़े टर्निंग प्वाइंट पर झेला था.
ऐसा तब हुआ था जब 2001 में उनके कैरेक्टर मिहिर विरानी की मौत दिखाई गई थी.अपने को-एक्टर अमन गांधी के पॉडकास्ट के दौरान अमर उपाध्याय ने उन पलों को याद किया जब उन्हें पता चला था कि तुलसी शो में किसी और आदमी के साथ आगे बढ़ने वाली है. एक्टर ने कहा,'मैं तो डिप्रेस हो गया था, यार.
मेंटली डिस्टर्ब हो गए थे अमर उपाध्याय
इतना ही नहीं कहानी में उनकी जगह किसी और का आना उन्हें अंदर से बेहद परेशान कर रहा था.'अमर ने आगे बताया कि अचानक से शो में उनका किरदार खत्म हो गया, जिसने उन्हें पर्सनली काफी परेशान किया.अमर ने कहा,'मैं थोड़ा सा मेंटली डिस्टर्ब हो गया था.'
शो की वजह से उन्हें जो जबरदस्त पहचान और शोहरत मिली थी, उसका एकदम से छिन जाना उन्हें ऐसा लगा जैसे उनकी पूरी पहचान एक रात में खो गई हो.अमर ने कहा कि एक एक्टर को क्या चाहिए होता है?फेम चाहिए होता है ना..पैसे तो आते ही रहते हैं यार.
आखिरी एपिसोड में सबकुछ झोंक दिया
एक्टर ने इस समय को इमोशनल रूप से थकाने वाला बताया और कहा कि आगे काम मिलेगा या नहीं, इस चिंता ने उनकी परेशानियों को बढ़ा दी थीं.इमोशनल स्ट्रेस के बाद भी अमर ने कहा कि उन्होंने आखिरी एपिसोड्स में अपना सब कुछ झोंक दिया.एक्टर ने बताया,'मैंने उन आखिरी 4-5 एपिसोड में 100% दिया था.'मिहिर की मौत वाला एपिसोड टेलीकास्टहोने के बाद जब अमर घर लौटे तो उन्हें लगा जैसे उनका एक हिस्सा उनसे छिन गया हो.
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