Mukesh Ambani Got Relief:  सिक्योरिटीज अपैलेट ट्रिब्यूनल (SAT) ने रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड के मैनेजिंग डायरेक्टर मुकेश अंबानी, नवी मुंबई एसईजेड और मुंबई एसईजेड को आज बड़ी राहत दी है. सैट ने इन सभी के खिलाफ शेयर बाजार रेगुलेटर सेबी के ऑर्डर को रद्द कर दिया है. मुकेश अंबानी और दो एसईजेड पर ये पेनल्टी साल 2021 में रिलायंस पेट्रोलियम लिमिटेड के शेयरों में कथित हेरफेर से जुड़े मामले में लगाई गई थी. 


आज सैट ने पलट दिया सेबी का 2 साल पुराना फैसला


सोमवार को जस्टिस न्यायमूर्ति तरुण अग्रवाल की अगुवाई वाली बेंच ने कहा कि "सेबी का 2021 का ऑर्डर कैंसिल किया जाता है. अगर सेबी के पास जुर्माना जमा कर दिया गया है तो इसे अपीलकर्ताओं को वापस किया जाना चाहिए." लाइवमिंट की खबर के मुताबिक डिटेल्ड ऑर्डर का अभी इंतजार किया जा रहा है. 


क्या है सारा मामला


भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड-सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया (सेबी) ने जनवरी 2021 में रिलायंस इंडस्ट्रीज पर 25 करोड़ रुपये और मुकेश अंबानी पर 15 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था. इसके अलावा नवी मुंबई एसईजेड को भी 20 करोड़ रुपये का जुर्माना देने को कहा था. इसके बाद मुकेश अंबानी ने आरआईएल और अन्य संस्थाओं के साथ सैट के सामने अपील दायर करके सेबी के ऑर्डर को चैलेंज किया था.


16 साल पुराना है मामला


ये मामला नवंबर 2007 में फ्यूचर एंड ऑप्शन में रिलायंस पेट्रोलियम लिमिटेड (आरपीएल) के शेयरों की बिक्री और खरीद से जुड़ा हुआ है. इसके बाद, रिलायंस ने अपनी लिस्टेड सहायक कंपनी आरपीएल में लगभग 5 फीसदी हिस्सेदारी बेचने का फैसला किया. बाद में आरपीएल को साल 2009 में आरआईएल में विलय (मर्ज) कर दिया गया था.


सेबी के तत्कालीन इंवेस्टिगेटिव ऑफिसर ने क्या माना था 


उस समय मामले की जांच करने वाले और फैसला देने वाले सेबी के ऑफिसर बी जे दिलीप ने माना था कि सिक्योरिटीज की संख्या या कीमत में से किसी में भी हेरफेर से बाजार में निवेशकों का भरोसा हमेशा कम होता है.


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