PPF Rules: पब्लिक प्रोविडेंट फंड स्कीम लंबी अवधि में शानदार रिटर्न देने वाली योजना है. इस स्कीम में निवेश करके आप टैक्स छूट के साथ ही साथ कंपाउंडिंग ब्याज दर का भी लाभ ले सकते हैं. इस स्कीम के तहत आप अपनी बच्चे की पढ़ाई, शादी, रिटायरमेंट के खर्च आदि की टेंशन से मुक्त हो सकती है. पीपीएफ स्कीम 15 साल की अवधि की स्कीम है. अगर आप भी इस योजना के तहत निवेश करने के बारे में सोच रहे हैं जो इससे जुड़े 8 जरूरी नियम के बारे में जान लें. इससे बाद में आपको किसी तरह की परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा.


पीपीएफ खाता कौन-कौन खोल सकता?


पीपीएफ स्कीम में आप 15 साल के लिए अपने पैसे निवेश कर सकते हैं जिसे बाद में 5-5 साल के लिए आगे बढ़ाया जा सकता है. इस खाते को कोई भी नागरिक खोल सकता है. जिस व्यक्ति के पास ईपीएफ खाता है वह भी पीपीएफ खाते को खोल सकता है. इस खाते को आप किसी बैंक या पोस्ट ऑफिस में खुलवा सकते हैं. इस योजना के तहत बच्चों के नाम भी पीपीएफ खाता खुलवाया जा सकता है, मगर खाते की देखरेख माता-पिता करेंगे.


कितना मिल रहा है ब्याज ?


पीपीएफ की ब्याज दर को सरकार हर तिमाही के आधार पर तय करती है. फिलहाल ग्राहकों को जमा राशि पर 7.1 फीसदी की दर से ब्याज का लाभ मिल रहा है.


कैसे मिलेगा पूरे ब्याज का लाभ


बता दें कि पीपीएफ खाते में आप एक साल में 500 रुपये से लेकर 1.50 लाख रुपये तक का निवेश कर सकते हैं. अगर आप ब्याज का पूरा लाभ प्राप्त करना चाहते हैं तो हर महीने की 5 लाख तारीख से पहले आप पैसे खाते में डाल दें. इससे आपको पूरी राशि पर उस महीने का ब्याज का लाभ मिलेगा.


केवल एक खाता खोलने की है परमिशन


ध्यान रखें कि एक खाताधारक को केवल एक पीपीएफ खाता खोलने की परमिशन है. अगर आपने पोस्ट ऑफिस या किसी अन्य बैंक में पीपीएफ खाता खोल दिया है तो आप दूसरी जगह इस खाते को नहीं खोल सकते हैं.


नॉमिनेशन है जरूरी


पीपीएफ के नियमों के मुताबिक हर खाताधारक को नॉमिनेशन की प्रक्रिया को जरूर पूरा करना चाहिए. अकाउंट खोलने के लिए आपको फॉर्म-A और नॉमिनेशन की प्रक्रिया को पूरा करने के लिए फॉर्म-B भरना जरूरी है. इससे बाद खाताधारक की मृत्यु हो जाने की स्थिति में खाते में जमा राशि को क्लेम करने में किसी तरह की दिक्कत नहीं होगी.


प्रीमैच्योर खाता बंद करने के नियम के बारे में जानें-


अगर आप अपने पीपीएफ खाते को बंद करना चाहते हैं तो इस खोले हुए आपको कम से कम पांच साल का वक्त पूरा करना आवश्यक है. खाते को केवल किसी इमरजेंसी की स्थिति जैसे खाता की बीमारी आदि पर भी बंद कर सकते हैं. खाता बंद करने से पहले आपको अपने कारण का लीगल डॉक्यूमेंट जैसे मेडिकल बिल दिखाना होगा. इसके बाद ही आप सारे पैसे विड्रॉ करके खाता बंद कर सकते हैं. 


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