नई दिल्ली: मध्य प्रदेश में दाखिल आरटीआई में नोटबंदी से जुड़ी एक बड़ी बात का खुलासा हुआ है. 8 नवंबर को जब नोटबंदी का ऐलान हुआ था तब सरकार ने उससे कुछ पहले ही नोटबंदी की तैयारी शुरू की थी ना कि 2 साल पहले से जैसा कि कहा जा रहा था. भारतीय रिजर्व बैंक नोट मुद्रण प्राधिकरण लिमिटेड ने 2000 रुपये के नोट की छपाई नोटबंदी से 2.5-3 माह पहले अगस्त में ही शुरू कर दी थी. 2000 रुपये के नोटों की छपाई महज 2.5 महीने पहले शुरू हुई थी और तब 500 के नोट छप भी नहीं रहे थे. सरकार ने 8 नवंबर को नोटबंदी की घोषणा की थी.


भारतीय रिजर्व बैंक की सब्सिडियरी कंपनी भारतीय रिजर्व बैंक नोट मुद्रण प्रा. लि. (बीआरबीएनएमपीएल) ने आरटीआई के जवाब में यह जानकारी दी है. सूचना के अधिकार (आरटीआई) से खुलासा हुआ है कि आरबीआई के पूर्ण स्वामित्व वाली इस यूनिट ने सरकार की नोटबंदी की घोषणा से करीब 2.5 महीने पहले ही 2000 रुपये के नए नोट छापने शुरू किए थे. हालांकि 500 रुपये के नये नोटों की छपाई का काम नोटबंदी के पखवाड़े भर या 15 दिन बाद शुरू हुई थी.


मध्य प्रदेश के नीमच जिले के आरटीआई कार्यकर्ता चंद्रशेखर गौड़ ने बताया, ‘‘सूचना के अधिकार कानून के तहत बीआरबीएनएमपीएल से पूछे गये एक सवाल के जवाब में मिले उत्तर के अनुसार 2000 रुपये के नोट की छपाई 22 अगस्त 2016 को शुरू हो गई थी, जबकि 500 रुपये के नोट की छपाई 23 नवंबर 2016 को शुरू हुई थी. जवाब में कहा गया कि बीआरबीएनएमपीएल ने 500 रुपये के पुराने नोटों की छपाई 27 अक्तूबर को बंद कर दी थी जबकि पुराने 1000 रुपये के नोटों की छपाई 28 जुलाई से ही कम हो गयी थी.


चंद्रशेखर गौड़ ने बताया कि उनकी आरटीआई अर्जी पर भारतीय रिजर्व बैंक नोट मुद्रण प्रायवेट लिमिटेड (बीआरबीएनएमपीएल) से मिले जवाब के जरिये यह अहम जानकारी हासिल हुई है. इसमें बताया गया कि बीआरबीएनएमपीएल के एक अधिकारी ने बताया कि इस यूनिट में 2000 रुपये के नये नोटों की छपाई का पहला चरण 22 अगस्त 2016 को शुरू किया गया था, जबकि 500 रुपये के नये नोटों की छपाई का पहला चरण 23 नवंबर 2016 आरंभ हुआ था.


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर 2016 की रात को घोषणा की थी कि 500 और 1000 रुपये के नोट अब वैध नहीं रहेंगे. इनकी जगह 500 और 2000 रुपये के नए नोट चलन में लाए जाएंगे. देश से काले धन का खात्मा करने के लिए नोटबंदी का ऐलान किया गया था.