Gems and Jewellery Industry: दिल्ली में ज्वेलरी पार्क बनाने की कोशिशें तेज हो गई हैं. इस पार्क के लिए होने वाले खर्च और जगह की तलाश की जा रही है. इस संबंध में एक प्रतिनिधिमंडल ने दिल्ली के लेफ्टिनेंट गवर्नर कार्यालय से संपर्क किया है. बैठक के दौरान ज्वेलरी पार्क को धरातल पर उतारने के बारे में विस्तृत चर्चा की गई. यदि सब कुछ सही रहा तो वह दिन दूर नहीं जब दिल्ली में जेम्स और ज्वेलरी (Gems and Jewellery) के लिए एक विशेष सेंटर होगा. 



बुधवार को इस संबंध में वार्ता करने के लिए जेम्स एंड ज्वेलरी एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल (GJEPC) के प्रतिनिधिमंडल ने दिल्ली के लेफ्टिनेंट गवर्नर (LG) के प्रिंसिपल सेक्रेटरी आशीष कुंद्रा से मुलाकात की. जीजेईपीसी के प्रतिनिधिमंडल में अशोक सेठ, डॉ. राजेंद्र भोला, केके दुग्गल और सुरुचि खिंद्रिया शामिल थे. इन्होंने आशीष कुंद्रा के साथ दिल्ली में जेम्स और ज्वेलरी इंडस्ट्री के लिए एक ही जगह पर सेंटर बनाने की संभावनाओं पर विचार-विमर्श किया. ज्वेलरी पार्क के जरिए निर्माताओं, थोक विक्रेताओं, खुदरा विक्रेताओं और उद्योग से जुड़े अन्य लोगों को एक ही जगह लाने के प्रयास किया जा रहा है. 


एक बार असफल हो चुका है प्रयास 


आशीष कुंद्रा ने बताया कि दिल्ली में जेम्स और ज्वेलरी सेक्टर के लिए एक सेंट्रलाइज्ड सेंटर के लिए एलजी ऑफिस में चर्चा चल रही है. हम ज्वेलरी पार्क के लिए सही जगह पहचानने की कोशिश कर रहे हैं. यह पार्क ज्वेलरी उद्योग के लिए बेहद जरूरी है. राजेंद्र भोला ने बताया कि बापरोला में जेम्स और ज्वेलरी कंपनियों को एक साथ लाने का प्रयास किया गया था. हालांकि, इस प्रस्ताव को आगे बढ़ाया नहीं जा सका.


मुंबई में बन रहे इंडिया ज्वेलरी पार्क का मुद्दा उठा 


बैठक के दौरान मुंबई में बन रहे इंडिया ज्वेलरी पार्क पर भी चर्चा की गई. यह एक मॉडर्न ज्वेलरी पार्क होने वाला है, हिस्से इंडस्ट्री को काफी मदद मिलने वाली है. इस ज्वेलरी पार्क की मदद से उद्योग अपने सामने आ रही चुनौतियों से आसानी से निपट सकता है. इसमें स्वच्छता और आवास सुविधाओं से संबंधित चिंताएं भी शामिल हैं. आशीष कुंद्रा ने दिल्ली में इंडिया ज्वेलरी पार्क के सफल मॉडल को दोहराने में रुचि व्यक्त की. उन्होंने इसे बनाने के लिए व्यापक दस्तावेज तैयार का अनुरोध किया.


ज्वैलरी इंडस्ट्री की अन्य चुनौतियों पर भी हुई चर्चा 


ज्वैलरी पार्क के अलावा बैठक में दिल्ली में कार्यालय के लिए स्थान और किराए की दरों से संबंधित महत्वपूर्ण मुद्दों पर भी चर्चा की गई. बढ़ते किराए और जगह को दूसरे को किराये पर देने के संबंध में चिंताएं भी व्यक्त की गईं. इन चुनौतियों को कम करने के लिए परिसर के सीधे आवंटन का अनुरोध किया गया. आशीष कुंद्रा ने प्रतिनिधिमंडल को समाधान तलाशने और किराये को और अधिक उचित स्तर पर संशोधित करने के लिए दिल्ली राज्य औद्योगिक और बुनियादी ढांचा विकास निगम (DSIIDC) के साथ बैठक का आश्वासन दिया.


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