मुंबई: नोटबंदी के बाद जहां कई रेटिंग फर्म ने भारत की जीडीपी गिरने का अनुमान लगाया था वहीं इसमें एचएसबीसी और सिटी समूह का भी नाम जुड़ गया है. फाइनेंस क्षेत्र की दो प्रमुख कंपनियों एचएसबीसी और सिटी समूह का अनुमान है कि नोटबंदी से भारत में कंज्यूमर मांग में कमी आई है और इसका असर सकल घरेलू उत्पाद यानी जीडीपी की बढ़त पर पड़ेगा. एचएसबीसी और सिटी समूह ने जीडीपी के बारे में जो ताजा अनुमान जारी किए हैं वे सरकार के अनुमान से कम हैं.


गौरतलब है कि सरकारी निकाय केंद्रीय सांख्यिकिकी संगठन (सीएसओ) ने भी वित्त वर्ष 2016-17 में जीडीपी वृद्धि का अनुमान 7.6 फीसदी से घटाकर 7.1 फीसदी कर दिया है.


एचएसबीसी ने एक रिपोर्ट में जीडीपी वृद्धि वित्त वर्ष 2016-17 में सीएसओ के अनुमान से भी कम रहने की संभावना जताई है. एचएसबीसी की इस रिपोर्ट के अनुसार मौजूदा वित्त वर्ष में देश की जीडीपी वृद्धि 6.3 फीसदी रह सकती है.


इसी प्रकार सिटी समूह ने दिल्ली में जारी एक रपट में कहा है कि नोटबंदी से खपत पर असर पड़ा है और इससे बनी अनिश्चितता से निजी निवेश की रिकवरी में देरी हो सकती है. इसलिए उसके मुताबिक वर्तमान वित्त वर्ष में जीडीपी की विकास दर 6.8 फीसदी रहने की संभावना है.