टिक-टॉक समेत कई चीनी ऐप को बैन कर दिए जाने के बाद देश में ये ऐप नए अवतार में सामने आ रहे हैं. पिछले कुछ महीनों के दौरान भारतीय ऐप स्टोर में ये नए नाम से दिखने शुरू हो गए हैं. मसलन, हाल में टेनसेंट समर्थित कुआइशोउ की से स्नैक वीडियो लॉन्च किया गया है. यह क्वाई के वीडियो जैसा ही है, जिसे जून में बैन किया गया था.


कई ऐप में बैन ऐप जैसे ही फीचर ही 


स्नैक वीडियो का इस्तेमाल ठीक-ठाक संख्या में भारतीय करने लगे हैं. इसमें भी शॉर्ट वीडियो टिक-टॉक जैसे फीचर दिख रहे हैं. टिक-टॉक चीनी टेक कंपनी बाइटडांस का ऐप है. इसी तरह यूजर को चैट रूम क्रिएट करने और अजनबियों से बात करने और और उनसे गेम खेलने की सुविधा देने वाले हेगो ऐप्स की जगह अब ओला पार्टी को सामने किया गया है.


हेगो ऐप को पहले प्रतिबंधित कर दिया गया था. नए ऐप में गेमिंग का ऑप्शन नहीं है लेकिन साइन-इन का फीचर पहले जैसा ही है. इसने हेगो से ही फ्रैंड्स और चैट रूम का भी फीचर ले लिया है.  प्रतिबंधित ऐप्स के नए सिरे से प्ले स्टोर पर दिखने के बारे में पूछने पर इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय ने कहा कि ऐसा नहीं होना चाहिए. मंत्रालय ने ऐसे ऐप की सूची जारी की है, जिन्हें भारतीय प्ले स्टोर में नहीं दिखना चाहिए.


बैन से बचने के लिए द. एशियाई देशों में रजिस्ट्रेशन करा सकती है कंपनियां 


मंत्रालय ने कुछ क्लोन ऐप को भी बैन किया है. एक्सपर्ट्स का कहना है कि भारत ऐप यूजर के हिसाब से काफी आकर्षक मार्केट है और इसे कोई भी कंपनी छोड़ना नहीं चाहेगी. आने वाले दिनों में अगर बैन ऐप की लिस्ट छोटी नहीं होगी तो और भी नकली ऐप सामने आ सकते हैं. चीनी ऐप कंपनियां बैन से बचने के लिए अपना रजिस्ट्रेशन दक्षिण एशियाई देशों में अपना रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं.


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