नई दिल्ली: आज वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का पहला बजट पेश करेंगी. आज़ाद भारत के इतिहास में ऐसा पहली बार होगा जब कोई पूर्णकालिक महिला वित्त मंत्री देश का बजट पेश करेंगी. कल पेश होने वाले बजट में वित्त मंत्री श्रमिकों और मज़दूरों पर भी विशेष कृपा बरसा सकती हैं. श्रमिकों, मज़दूरों और किसानों को लेकर बीजेपी ने अपने घोषणा पत्र में कई बड़े ऐलान किए थे.
पीएम श्रम मानधन योजना 30 मई को शपथ ग्रहण के अगले ही दिन मोदी सरकार की पहली कैबिनेट बैठक में पीएम श्रम मानधन योजना को मंज़ूरी मिली थी. फरवरी में पेश हुए अंतरिम बजट में भी इस योजना को लॉन्च करने का एलान हुआ था.
वित्त मंत्री आम बजट में इस योजना के लिए फिलहाल 1000 करोड़ रुपए आवंटित कर सकती हैं. योजना के तहत छोटे व्यापारियों को 60 साल की उम्र के बाद 3000 रुपए प्रति महीना पेंशन देने का लक्ष्य है.
कर्मचारी पेंशन स्कीम श्रम मंत्रालय का सबसे अधिक खर्च उसकी दो प्रमुख योजनाओं पर होता है. पहला, कर्मचारी पेंशन स्कीम और दूसरा, पीएम रोज़गार प्रोत्साहन योजना. इस साल जहां कर्मचारी पेंशन स्कीम के लिए 5000 करोड़ रुपए दिए जाने की संभावना है. वहीं, पीएम रोज़गार प्रोत्साहन योजना के लिए 2000 करोड़ रुपए आवंटित किए जाने की उम्मीद है.
मोदी सरकार ने श्रम कानूनों में सुधार के लिए 44 पुराने कानूनों को मिलाकर 4 कानून बनाने का निर्णय किया है. इसी हफ्ते बुधवार को हुई कैबिनेट की बैठक में Code on Wages Bill को मंजूरी मिली है, जिसका उद्देश्य श्रमिकों के लिए न्यूनतम वेतन की सीमा तय करना है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारामन अपने बजट भाषण में सरकार की प्रतिबद्धता दोहरा सकती हैं.