अडानी समूह को धारावी के बाद मुंबई में एक और अहम रियल एस्टेट प्रोजेक्ट मिलने जा रहा है. खबरों की मानें तो बांद्रो रिक्लेमेशन में स्थित एमएसआरडीसी के 24 एकड़ के भूखंड को पुनर्विकसित करने का प्रोजेक्ट अडानी को मिल सकता है, क्योंकि अडानी रियल्टी ने उसके लिए सबसे बड़ी बोली लगाई है.


लार्सन एंड टुब्रो से था मुकाबला


ईटी की एक रिपोर्ट के अनुसार, अडानी समूह की रियल एस्टेट कंपनी अडानी रियल्टी ने महाराष्ट्र स्टेट रोड डेवलपमेंट कॉरपोरेशन यानी एमएसआरडीसी के प्रोजेक्ट के लिए सबसे बड़ी बोली लगाई है. एमएसआरडीसी का 24 एकड़ का भूखंड प्राइम लोकेशन पर स्थित है और बांद्रा-वर्ली सी लिंक के पास है. प्रोजेक्ट के लिए अडानी रियल्टी के अलावा सिर्फ लार्सन एंड टुब्रो ही रेस में थी.


अगले सप्ताह बोर्ड की अहम बैठक


अडानी रियल्टी ने अपनी बोली में एमएसआरडीसी को 23.15 फीसदी रेवेन्यू शेयर ऑफर किया है, जबकि प्रतिस्पर्धी एलएंडटी की बोली में 18 फीसदी राजस्व ऑफर किया गया था. इस तरह अडानी रियल्टी ने एलएंडटी की तुलना में ज्यादा आकर्षक ऑफर पेश किया है. अभी विनर का ऐलान नहीं हुआ है, लेकिन दोनों बोलियों को देखते हुए अडानी रियल्टी के चांसेज दिख रहे हैं. एमएसआरडीसी के बोर्ड की अगले सप्ताह होने जा रही बैठक में इस बारे में अंतिम निर्णय लिया जाएगा.


अडानी रियल्टी के सामने ये शर्तें


अगर अडानी रियल्टी को विनर चुना जाता है तो उसके द्वारा पेश किए गए ऑफर के अनुसार उसे प्रोजेक्ट के राजस्व में से 23.15 फीसदी हिस्सा या 8000 करोड़ रुपये में से जो ज्यादा होगा, का भुगतान करना होगा. इसके अलावा अडानी रियल्टी एमएसआरडीसी को 50 हजार स्क्वेयर फीट में बना एक फर्निश्ड ऑफिस स्पेस भी देगी.


10 साल तक देने होंगे 2-2 करोड़ रुपये


सक्सेसफुल बिडर को एमएसआरडीसी की ओर से इसके लिए 10 साल का समय मिलेगा. समय की गणना भूखंड डेवलपर को हैंडओवर होने के बाद शुरू होगी. इन 10 सालों में डेवलपर एमएसआरडीसी को हर साल 2-2 करोड़ रुपये का भुगतान करेगा.


अडानी समूह के पास धारावी प्रोजेक्ट


अडानी समूह की रियल्टी कंपनी के पास मुंबई का एक और बड़ा रियल एस्टेट प्रोजेक्ट है. अडानी समूह को मुंबई के बीच में स्थित स्लम धारावी को नए सिरे से डेवलप करने का काम मिला हुआ है. अडानी समूह को नवंबर 2022 में धारावी रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट का विनर चुना गया था. प्रोजेक्ट के तहत 600 एकड़ इलाके में फैले धारावी को पुनर्विकसित किया जाएगा.


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